करवाचौथ गीत (ओ चाँद जरा जल्दी आना)
ओ चाँद जरा जल्दी आना
नखरे अपने मत दिखलाना
जन्मों जन्मों का साथ रहे
आशीष हमें ये दे जाना
चंदा मेरा भी है प्यारा
मेरी आँखों का है तारा
लुका छुपी का खेल खेलकर
तुम कल खुद पर मत इतराना
ओ चाँद जरा जल्दी आना
नज़रें तुमको ही ढूढेंगी
देख बलैया भी वो लेंगी
बात मान लो मेरी इतनी
कल तुम उनको मत तरसाना
ओ चाँद जरा जल्दी आना
मैं निर्जल उपवास करूँगी
दुल्हन जैसा रूप धरूँगी
अर्ध्य तुम्हें देकर मुझको तो
सदा सुहागन का वर पाना
ओ चाँद जरा जल्दी आना
28-10-2020
डॉ अर्चना गुप्ता
मुरादाबाद