उसके जाने से
उसके जाने से,
हृदय विदीर्ण होगा
जीवन संकीर्ण होगा
कलेजा फटता हुआ प्रतीत होगा
सांसें धीमी और शरीर सुन्न होगा
पर आंखों से केवल सैलाब बहेगा
और जिस्म में जान तब भी रहेगा।
तुम्हारे होठ सिल जाएंगे
नींद आंखों को अलविदा कह जाएंगे
और दिल की जगह पत्थर भर जाएंगे
अजीब सी बैचेनी तुम्हें महसूस होगी
और तुम्हारी सांसें तुम्हारे लिए बोझ बन जाएंगी
पर ये धड़कनें तब भी चलती रहेंगी
और जिस्म में जान तब भी रहेगा।
तुम्हारे दिलों दिमाग में विरानापन कुछ यूँ सजेगा
कि दुनिया के हर कोने में तुम्हें सूनापन दिखेगा,
जीवन से ख़ुबसूरत मौत का मंजर लगेगा
पानी से तर रहोगे पर गला सूखा ही रहेगा
नसें फटने को आमदा होंगी
पर रक्त संचरण तब भी होता रहेगा
और जिस्म में जान तब भी रहेगा।
उसके जाने से तुम थम जाओगे
पर वक़्त चलता रहेगा
विरह के दर्द से तुम मर जाओगे
पर तुम्हें जीना पड़ेगा
क्यूंकि जिस्म में जान तब भी रहेगा,
क्यूंकि जिस्म में जान तब भी रहेगा।।
-©®Shikha