उम्मीद
तूँ किसी काम भी ना आने वाला,
मग़र तालुक है बहुत जमाने वाला,
उससे उम्मीद भला क्या रखता मैं,
जो छोड़कर मुझको है जाने वाला,
तूँ अच्छी है इतनी भी अच्छी नहीं,
शाकी को चाहिए मयखाने वाला,
तूँ किसी काम भी ना आने वाला,
मग़र तालुक है बहुत जमाने वाला,
उससे उम्मीद भला क्या रखता मैं,
जो छोड़कर मुझको है जाने वाला,
तूँ अच्छी है इतनी भी अच्छी नहीं,
शाकी को चाहिए मयखाने वाला,