उठो उत्साह से
उठो उत्साह से (गीतिका)
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उठो उत्साह से कुछ कर दिखाओ।
निराशा के तिमिर से पार पाओ।
परीक्षा धैर्य की मत लीजिए अब।
मिटाकर दूरियां कुछ पास आओ।
उदासी खत्म हो जाएगी पल में।
पुराना गीत कोई गुनगुनाओ।
बहुत धीरज धरा हमने मगर अब।
मुहब्बत को न यूं तुम आजमाओ।
सफर दीवानगी में थक गया हूं।
कदम इस बार तुम आगे बढ़ाओ।
कहीं कोई नदी जब बह रही है।
समुंदर लक्ष्य उसका जान जाओ।
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-सुरेन्द्रपाल वैद्य, ०४/०५/२०२२