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3 May 2024 · 1 min read

आरज़ू

हसरत नहीं आलीशान महलों की,
आरज़ू है इक छोटे से आशियाने की,
जो दो दिलों के नूर से रोश़न रहे,
जहां दो दिलों का प्यार पले ,
ज़िंदादिली से ये ज़िंदगानी कटे ,
रहते दम तक, एक दूजे के लिए
ए़हसास ज़िंदा रहे,
फ़ना होने पर रूहें यकसाँ हों ,
ख़ुदा भी जुदा ना कर सके ।

Language: Hindi
64 Views
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