अब हर बात बताते नहीं तुमको
अब हर बात बताते नहीं तुमको,
दिल में दफ़न कर देते है,
कितने ही गहरे हो जस्बात, जगाते नहीं उनको,
अब हर बात बताते नहीं तुमको,
कदमो से कदम मिला लेते है,
हाथ में रहता उनका हाथ,
अब अहसास दिखाते नहीं उनको,
अब हर बात बताते नहीं तुमको,
मुस्कुरा देते है मुस्कराहट पर,
लहरा कर हवा में हाथ को,
चेहरा छुपाने का अंदाज़, जताते नहीं उनको,
अब हर बात बताते नहीं तुमको,
वो सुर्ख आँख को मेरी देखते है,
मैं जी रहा हु या मर रहा हु,
अब कोई सवाल बुलाते नहीं उनको,