*अपनो की तरहा हो तुम*
अपनो की तरहा हो तुम
मेरीे आँखों मे सपनो की तरहा हो तुम।।
गैर होकर भी अपनो की तरहा हो तुम।।
किसी भी तरहा से न दूर रहा करो,,
ये सितम भी हम पे न यू किया करो,,
बस हमारे ही हमारो की तरहा हो तुम।।
वीरान सी जिंदगी की जरूरत हो,,
इन नजरो मे ही बहुत खूबसूरत हो,,
इन सब बेगानों की ही तरहा तो न हो तुम।।
सब्र इम्तहान इश्क की पहचान हो,,
मेरी जिंदगी जान और ये जहांन हो,,
दुनिया के और अनजानों की तरहा न हो तुम।।
सब तरफ नज़ारे तुम्हारे ही हो ये है,,
इस दिल की तुम आराजु ही हो ये है,,
दिल की महफ़िल मै तरानों की तरहा हो तुम।।
मेरी तमन्नाओ की राह तरहा हो तुम,,
मनु जिंदगी बने सलाह तरहा हो तुम,,
मानक लाल मनु