Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 Feb 2024 · 1 min read

अच्छा ही किया तूने

अच्छा ही किया तूने दौरे खिजां में हमसे नाता तोड़ लिया।
मेरे पास सिवा गम के क्या था तूने गम से नाता तोड़ लिया।।
अच्छा ही किया……..

हमको क्या खबर थी ये बारिश मेरे घर में आग लगाएगी।
इस दिल की लगी में किसी रोज़ मेरी दुनियाँ जल जाएगी।
फूलों की रंगत बढ़ती है इन पर शबनम की बूंदों से
फूलों को वफ़ा ना रास आयी शबनम से नाता तोड़ लिया।।
अच्छा ही किया………

कुछ लोग जहां में ऐसे भी हमदम पे इनायत करते हैं।
गैरों से मोहब्बत करते हैं अपनों से अदावत करते हैं।
खैरात प्यार की माँगी तो माँग भी मेरी ठुकरा दी
देखी जो मुफ़लिसी हमदम की हमदम से नाता तोड़ लिया।।
अच्छा ही किया………

अच्छे या बुरे जैसे भी हैं कुछ रोज़ यूँ ही कट जाएंगे।
दिल अनमोल लुटा ही चुके अब डर कैसा लुट जाएंगे।।
तोड़ीं कसमें तोड़ा वादा, देखा दिल का मौसम सादा
रंगीला फागुन मिला तुम्हें मौसम से नाता तोड़ लिया।।
अच्छा ही किया…….

#संजय नारायण

Language: Hindi
118 Views

You may also like these posts

सत्य की खोज
सत्य की खोज
Dr. Priya Gupta
..
..
*प्रणय*
"मित्रता और मैत्री"
Dr. Kishan tandon kranti
Right now I'm quite notorious ,
Right now I'm quite notorious ,
Chaahat
कसम से शिथिल तन हुआ है
कसम से शिथिल तन हुआ है
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
देख कर उनको
देख कर उनको
हिमांशु Kulshrestha
बाबाओं की फौज
बाबाओं की फौज
Mukesh Kumar Rishi Verma
विकास या खच्चीकरण
विकास या खच्चीकरण
Mukund Patil
* थके नयन हैं *
* थके नयन हैं *
surenderpal vaidya
शुभ प्रभात मित्रो !
शुभ प्रभात मित्रो !
Mahesh Jain 'Jyoti'
यथार्थ से दूर का नाता
यथार्थ से दूर का नाता
Dr MusafiR BaithA
*नवाब रजा अली खॉं ने श्रीमद्भागवत पुराण की पांडुलिपि से रामप
*नवाब रजा अली खॉं ने श्रीमद्भागवत पुराण की पांडुलिपि से रामप
Ravi Prakash
3561.💐 *पूर्णिका* 💐
3561.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
नमन ऐ दिव्य मानव
नमन ऐ दिव्य मानव
आकाश महेशपुरी
धन्यवाद
धन्यवाद
Rambali Mishra
तीन औरतें बेफिक्र जा रही थीं,
तीन औरतें बेफिक्र जा रही थीं,
Ajit Kumar "Karn"
सद्विचार
सद्विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
गर्मी और नानी का आम का बाग़
गर्मी और नानी का आम का बाग़
अमित
बेज़ुबान पहचान ...
बेज़ुबान पहचान ...
sushil sarna
विरोध-रस की काव्य-कृति ‘वक्त के तेवर’ +रमेशराज
विरोध-रस की काव्य-कृति ‘वक्त के तेवर’ +रमेशराज
कवि रमेशराज
ख़ून इंसानियत का
ख़ून इंसानियत का
Dr fauzia Naseem shad
आत्महत्या
आत्महत्या
आकांक्षा राय
भुला बैठे हैं अब ,तक़दीर  के ज़ालिम थपेड़ों को,
भुला बैठे हैं अब ,तक़दीर के ज़ालिम थपेड़ों को,
Neelofar Khan
जिस्म से जान निकालूँ कैसे ?
जिस्म से जान निकालूँ कैसे ?
Manju sagar
खुश रहोगे कि ना बेईमान बनो
खुश रहोगे कि ना बेईमान बनो
Shweta Soni
God is Almighty
God is Almighty
DR ARUN KUMAR SHASTRI
आधार छंद - बिहारी छंद
आधार छंद - बिहारी छंद
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
কিছুই না
কিছুই না
Otteri Selvakumar
*धरा पर देवता*
*धरा पर देवता*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
छोड़ो मेरे हाल पे हमको
छोड़ो मेरे हाल पे हमको
Sanjay Narayan
Loading...