अक्सर हम ज़िन्दगी में इसलिए भी अकेले होते हैं क्योंकि हमारी ह
अक्सर हम ज़िन्दगी में इसलिए भी अकेले होते हैं क्योंकि हमारी हथेलियों में खींचे होते हैं किसी और के नाम के खांके और……इन खांको को साथ लेकर ही हम तलाशते रहते हैं अपने हमसफ़र ……पर हम ये भूल जाते हैं कि इस दुनिया में ईश्वर ने सबके सांचे अलग ढाले हैं …सबके आकार अलग हैं ……सबकी खूबियां अलग हैं ….कोई किसी के सांचे में फिट नहीं बैठ सकता …..
इसलिए अबकी बार किसीको ढूंढो तो हथेलियों में ख़ाके लेकर मत ढूंढना ….वरना उम्रभर तलाश में ही रहोगे 🤍
#विरह