Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Mar 2023 · 1 min read

विश्व रंगमंच दिवस पर….

वृहद् रंगमंच ये दुनिया सारी….

विरंचि-विरचित प्रपंच यह भारी।
रंगमंच-सी भासित दुनिया सारी।
जीव जहाँ अभिनय करता है,
नित नूतन अति विस्मय कारी।

नयनाभिराम निसर्ग-दृश्य-दर्शन।
सृष्टि अनूठी अद्भुत बिंबांकन।
नर्तन सम्मोहक नियति-नटी का,
करता नियंता तटस्थ मूल्यांकन।

अनुस्यूत कथाएँ मुख्य-प्रासंगिक।
हाव-भाव चाक्षुष और आंगिक।
मिल सब भव्य कथानक गढ़ते,
नाट्यशाला सी भू खुली नैसर्गिक।

पात्र आते निज किरदार निभाते।
दर्शक उन संग घुल-मिल जाते।
गिरती यवनिका पटाक्षेप होता,
एक नया दृश्य फिर सामने होता।

त्रिगुणात्मक प्रवृत्तियाँ मानवीय।
रचतीं पल-पल नवल प्रकरण।
व्यक्ति-अभिव्यक्ति भाषा-शैली,
करते मिल सब भाव-अलंकरण।

कथानक श्लाघ्य सदा वह होता।
अंततोगत्वा अंत सुखद जिसका।
नाटिका वही सफल कालजयी,
हो सन्देश महत् फलद जिसका।

इस वृहद् रंगमंच के पात्र हम सब।
भूमिका लघु बेशक पर अहं हमारी।
छोड़ जाएँ कदमों के निशां कुछ ऐसे,
चले युगों तक जिन पर दुनिया सारी।

© डॉ.सीमा अग्रवाल
मुरादाबाद (उ.प्र.)

Language: Hindi
3 Likes · 2 Comments · 60 Views
Join our official announcements group on Whatsapp & get all the major updates from Sahityapedia directly on Whatsapp.

Books from डॉ.सीमा अग्रवाल

You may also like:
तुम्हें ये आदत सुधारनी है।
तुम्हें ये आदत सुधारनी है।
सत्य कुमार प्रेमी
मैंने पीनी छोड़ तूने जो अपनी कसम दी
मैंने पीनी छोड़ तूने जो अपनी कसम दी
Vishal babu (vishu)
नारदीं भी हैं
नारदीं भी हैं
सिद्धार्थ गोरखपुरी
ना दे खलल अब मेरी जिंदगी में
ना दे खलल अब मेरी जिंदगी में
श्याम सिंह बिष्ट
प्यार में ना जाने क्या-क्या होता है ?
प्यार में ना जाने क्या-क्या होता है ?
Buddha Prakash
*झगड़े में पड़ी फिक्र तो, इंसान की पड़ी (हिंदी गजल/ गीतिका )*
*झगड़े में पड़ी फिक्र तो, इंसान की पड़ी (हिंदी गजल/ गीतिका )*
Ravi Prakash
हिन्दी दोहा लाड़ली
हिन्दी दोहा लाड़ली
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
भगवान कहाँ है तू?
भगवान कहाँ है तू?
Bodhisatva kastooriya
2288.पूर्णिका
2288.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
कभी किताब से गुज़रे
कभी किताब से गुज़रे
Ranjana Verma
बट विपट पीपल की छांव ??
बट विपट पीपल की छांव ??
Tarun Prasad
चराग बुझते ही.....
चराग बुझते ही.....
Vijay kumar Pandey
After becoming a friend, if you do not even talk or write tw
After becoming a friend, if you do not even talk or write tw
DrLakshman Jha Parimal
भाग दौड़ की जिंदगी में अवकाश नहीं है ,
भाग दौड़ की जिंदगी में अवकाश नहीं है ,
Seema gupta,Alwar
तमाम लोग किस्मत से
तमाम लोग किस्मत से "चीफ़" होते हैं और फ़ितरत से "चीप।"
*Author प्रणय प्रभात*
नादां दिल
नादां दिल
Pratibha Kumari
आईने में अगर
आईने में अगर
Dr fauzia Naseem shad
उन्हें नहीं मालूम
उन्हें नहीं मालूम
Brijpal Singh
आज
आज
Shyam Sundar Subramanian
होली
होली
Dr. Kishan Karigar
Kudrat taufe laya hai rang birangi phulo ki
Kudrat taufe laya hai rang birangi phulo ki
Sakshi Tripathi
देश के खातिर दिया जिन्होंने, अपना बलिदान
देश के खातिर दिया जिन्होंने, अपना बलिदान
gurudeenverma198
जब कभी  मिलने आओगे
जब कभी मिलने आओगे
Dr Manju Saini
"गिल्ली-डण्डा"
Dr. Kishan tandon kranti
बेटा बेटी का विचार
बेटा बेटी का विचार
Vijay kannauje
होली
होली
Dr Archana Gupta
दरोगा तेरा पेट
दरोगा तेरा पेट
Satish Srijan
भौतिकता
भौतिकता
लक्ष्मी सिंह
नैनों में प्रिय तुम बसे....
नैनों में प्रिय तुम बसे....
डॉ.सीमा अग्रवाल
याद  में  ही तो जल रहा होगा
याद में ही तो जल रहा होगा
Sandeep Gandhi 'Nehal'
Loading...