*जन्म लिया है बेटी ने तो, दुगनी खुशी मनाऍं (गीत)*
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जन्म लिया है बेटी ने तो, दुगनी खुशी मनाऍं (गीत)
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जन्म लिया है बेटी ने तो, दुगनी खुशी मनाऍं
(1)
नए दौर की सुगढ़ बेटियॉं, बेटों से बढ़कर हैं
पढ़ी-लिखी होती बेटों से, ज्यादा यह अक्सर हैं
नहीं पराया धन हैं बेटी, यह सबको समझाऍं
(2)
चूल्हा-चौका बात पुरानी , अब नवयुग है आया
अफसर-वैज्ञानिक अब बेटी, जग में नाम कमाया
पालन-पोषण करें इस तरह, बेटे सब ललचाऍं
(3)
अब बेटी हर एक क्षेत्र में, बढ़ती आगे पाओ
बेटी किंचित कम मत समझो, इस से वंश चलाओ
दॉंव-पेंच दुनियादारी के, बेटी को सिखलाऍं
जन्म लिया है बेटी ने तो, दुगनी खुशी मनाऍं
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रचयिता: रवि प्रकाश
बाजार सर्राफा , रामपुर उ.प्र.
मोबाइल 99976 15451