Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 Feb 2017 · 1 min read

@@@ माँ की याद @@@

लेकर आया हूँ में आज फिर
एक कविता ऐसी, जो न
कही कभी मैने, जो थी आज
तक मुझ से अनजानी

आज जन्म दिन की तारीख
याद है सब को , की कब में
पैदा हुआ था धरती पर,

आज शुभ विवाह की तारीख
याद है उनको, जिनकी शादी
हुई थी उस तारीख पर,

मरते की तारीख न कोई याद कर
सका, न कोई याद कर सकेगा
कब गुजर गया में यहाँ पर !!

क्या याद है वो दिन जब माँ ने तुझे दूध पिलाया था ?
क्या याद है वो दिन जब तुझे चलना सिखाया था ?
क्या याद है वो दिन तुझे रोने पर उस ने हसाया था ?
क्या याद है वो दिन जब सूखे में तुझे सुलाया था ?

तेरी इक आहट पर जाग उस की खुल जाती थी !
मेरा लल्ला भूखा है उठ कर तेरी भूख मिटाती थी
कहीं पेट दर्द तो नहीं झट पट जाकर हींग पिलाती थी !
तून चुप नहीं होता तो सारी रात झूला झुलाती थी !!

आज तून अपनी माँ का दर्द जान कर भी अनजान है !
न जाने तुझे अपनी किस बात का हो रहा गुमान है !!
रिश्ते तो दुनिया में न जाने कितने ,कितनो से बन जायेंगे
अगर माँ मर्म न समझा प्यारे,,,कभी सुखी नहीं रह पाओगे !!

आज तुझे अपना हर खर्चा अच्छा लगता है !
माँ का बुढ़ापा तुझे अनजाना सा लगता है !!
क्या खूब “अजीत” इस दुनिया का अंजाम है !
बेटा न कर सका कुछ , इसी लिए वो बदनाम है !!

अजीत कुमार तलवार
मेरठ

Language: Hindi
1 Comment · 870 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from गायक - लेखक अजीत कुमार तलवार
View all
You may also like:
हे मां शारदे ज्ञान दे
हे मां शारदे ज्ञान दे
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
मैं तो महज इंसान हूँ
मैं तो महज इंसान हूँ
VINOD CHAUHAN
*
*"मुस्कराहट"*
Shashi kala vyas
भैतिक सुखों का आनन्द लीजिए,
भैतिक सुखों का आनन्द लीजिए,
Satish Srijan
संक्रांति
संक्रांति
Harish Chandra Pande
मुकाम
मुकाम
Swami Ganganiya
रमेशराज की तेवरी
रमेशराज की तेवरी
कवि रमेशराज
मैं नन्हा नन्हा बालक हूँ
मैं नन्हा नन्हा बालक हूँ
अशोक कुमार ढोरिया
कैमरे से चेहरे का छवि (image) बनाने मे,
कैमरे से चेहरे का छवि (image) बनाने मे,
Lakhan Yadav
अपने-अपने चक्कर में,
अपने-अपने चक्कर में,
Dr. Man Mohan Krishna
कामयाबी का नशा
कामयाबी का नशा
SHAMA PARVEEN
जीत
जीत
सुरेश अजगल्ले 'इन्द्र '
Winner
Winner
Paras Nath Jha
हमारी भारतीय संस्कृति और सभ्यता
हमारी भारतीय संस्कृति और सभ्यता
SPK Sachin Lodhi
"बहुत दिनों से"
Dr. Kishan tandon kranti
***
*** " आधुनिकता के असर.......! " ***
VEDANTA PATEL
किसी को उदास पाकर
किसी को उदास पाकर
Shekhar Chandra Mitra
💐प्रेम कौतुक-301💐
💐प्रेम कौतुक-301💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
हर खुशी को नजर लग गई है।
हर खुशी को नजर लग गई है।
Taj Mohammad
राहों में खिंची हर लकीर बदल सकती है ।
राहों में खिंची हर लकीर बदल सकती है ।
Phool gufran
*उर्मिला (कुंडलिया)*
*उर्मिला (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
किस किस से बचाऊं तुम्हें मैं,
किस किस से बचाऊं तुम्हें मैं,
Vishal babu (vishu)
वृक्ष किसी को
वृक्ष किसी को
DrLakshman Jha Parimal
बेइमान जिंदगी से खुशी झपट लिजिए
बेइमान जिंदगी से खुशी झपट लिजिए
नूरफातिमा खातून नूरी
एक ग़ज़ल यह भी
एक ग़ज़ल यह भी
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
शरद
शरद
Tarkeshwari 'sudhi'
अंतर्राष्ट्रीय श्रम दिवस आज......
अंतर्राष्ट्रीय श्रम दिवस आज......
*Author प्रणय प्रभात*
स्टेटस
स्टेटस
Dr. Pradeep Kumar Sharma
मन की किताब
मन की किताब
Neeraj Agarwal
"कूँचे गरीब के"
Ekta chitrangini
Loading...