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Tag: Sher
38 posts
कभी दिल ही नहीं करता जरा सा भी नहीं करता
कभी दिल ही नहीं करता जरा सा भी नहीं करता
Jitendra Chhonkar
आज के ख़्वाब ने मुझसे पूछा
आज के ख़्वाब ने मुझसे पूछा
Vivek Pandey
Mera Dil
Mera Dil
Harshit Raj Jaiswal
मौसीक़ी
मौसीक़ी
Abhishek prabal
Mohabbat
Mohabbat
Harshit Raj Jaiswal
मोहब्बत ना कर .......
मोहब्बत ना कर .......
Jitendra Chhonkar
मौसीक़ी
मौसीक़ी
Musical VABES
क्यों बात करते हो.......
क्यों बात करते हो.......
Jitendra Chhonkar
बहुत अजीब हाल है अपना
बहुत अजीब हाल है अपना
Jitendra Chhonkar
बाल बिखरे से,आखें धंस रहीं चेहरा मुरझाया सा हों गया !
बाल बिखरे से,आखें धंस रहीं चेहरा मुरझाया सा हों गया !
The_dk_poetry
चाह
चाह
जय लगन कुमार हैप्पी
राधा और मुरली को भी छोड़ना पड़ता हैं?
राधा और मुरली को भी छोड़ना पड़ता हैं?
The_dk_poetry
वहम ना पाल,.......मेरे भाई
वहम ना पाल,.......मेरे भाई
Jitendra Chhonkar
विचारमंच भाग -5
विचारमंच भाग -5
डॉ० रोहित कौशिक
तबियत
तबियत
ओनिका सेतिया 'अनु '
विचारमंच भाग -3
विचारमंच भाग -3
डॉ० रोहित कौशिक
चलो अच्छा हुआ .......
चलो अच्छा हुआ .......
Jitendra Chhonkar
हम आज भी उनकी बात करते हैं
हम आज भी उनकी बात करते हैं
बदनाम बनारसी
जिसको जैसा समझा वो वैसा निकला ......
जिसको जैसा समझा वो वैसा निकला ......
Jitendra Chhonkar
बहुत चाहा हैं ..........
बहुत चाहा हैं ..........
Jitendra Chhonkar
प्रेम हैं अनन्त उनमें
प्रेम हैं अनन्त उनमें
The_dk_poetry
तुम्हारे खुशियों की आँगन में
तुम्हारे खुशियों की आँगन में
Writer_ermkumar
विचारमंच ✍️✍️✍️
विचारमंच ✍️✍️✍️
डॉ० रोहित कौशिक
उसके प्यार में ..........
उसके प्यार में ..........
Jitendra Chhonkar
मतलब का दौर
मतलब का दौर
Jitendra Chhonkar
कहती जो तू प्यार से
कहती जो तू प्यार से
The_dk_poetry
कुछ लड़कों का दिल, सच में टूट जाता हैं!
कुछ लड़कों का दिल, सच में टूट जाता हैं!
The_dk_poetry
बुलन्द होंसला रखने वाले लोग, कभी डरा नहीं करते
बुलन्द होंसला रखने वाले लोग, कभी डरा नहीं करते
The_dk_poetry
कभी हम उन्हें मनाते थे
कभी हम उन्हें मनाते थे
The_dk_poetry
उसे रोने की इजाज़त न थी
उसे रोने की इजाज़त न थी
बदनाम बनारसी
मेरे हैं बस दो ख़ुदा
मेरे हैं बस दो ख़ुदा
The_dk_poetry
प्रेमी-प्रेमिकाओं का बिछड़ना, कोई नई बात तो नहीं
प्रेमी-प्रेमिकाओं का बिछड़ना, कोई नई बात तो नहीं
The_dk_poetry
दो शे'र
दो शे'र
डॉक्टर वासिफ़ काज़ी
खोने के लिए कुछ ख़ास नहीं
खोने के लिए कुछ ख़ास नहीं
The_dk_poetry
बात बराबर हैं
बात बराबर हैं
Kumar lalit
दो पंक्तियां
दो पंक्तियां
Vivek saswat Shukla
मैं
मैं
Vivek saswat Shukla
"ज्वाला
भरत कुमार सोलंकी
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