Posts Tag: हास्य-व्यंग्य 328 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Ladduu1023 ladduuuuu 16 Dec 2024 · 4 min read Danger Lady 🧛🧟 औरत से प्रेम में अगर आप ये उम्मीद करते हैं कि वो आपसे पूरी तरह खुश है तो आप नादानी में है... ये औरत के मूल में ही नहीं है... Hindi · Ladduu1023 · Ladduuuukiyadein · कविता · हास्य · हास्य-व्यंग्य 1 152 Share DrLakshman Jha Parimal 27 Nov 2024 · 2 min read " स्वर्ग में पत्रकारों की सभा " डॉ लक्ष्मण झा "परिमल '' ================== "नये आगंतुक जमाल खाशोग्गी का इस स्वर्गलोक में अभिनन्दन है ! अभी अभी गत २ अक्टूबर २०१८ को टर्की स्थित सऊदी दूतावास में इनकी... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 29 Share Buddha Prakash 19 Nov 2024 · 1 min read बहू एक उड़की-उड़की हुई बहू, चांद-सा चेहरा उसका, क्यो थी लुढकी- लुढकी सी बहू, सुबह सवेरे रेल के सफर में, बैठी चुपकी - चुपकी सी बहू। रूप सुंदर नैना काले, गोरे... Hindi · कविता · हास्य-व्यंग्य 2 33 Share Sudhir srivastava 11 Nov 2024 · 2 min read अवध में राम आये हैं अजीब तमाशा है जैसे हमें पता ही नहीं है कि अवध में राम आये हैं। चलिए! आपने कहा तो हमने मान भी लिया पर क्या आप मेरी भी बात मानेंगे?... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 43 Share मधुसूदन गौतम 21 Oct 2024 · 1 min read आधुनिक दान कर्म व्यंग्य: आधुनिक दान रमेशजी को समाज में अपनी छवि चमकाने का बड़ा शौक था। एक दिन उन्होंने तय किया कि वह बड़े स्तर पर दान करेंगे ताकि लोग उनकी प्रशंसा... Hindi · हास्य-व्यंग्य 30 Share आकाश महेशपुरी 30 Sep 2024 · 1 min read तेरी नज़रों में अब वो धार नहीं ग़ज़ल- तेरी नज़रों में अब वो धार नहीं ◼️◼️◼️◼️◼️◼️◼️◼️◼️◼️ दिल के होता है आर-पार नहीं तेरी नज़रों में अब वो धार नहीं तेरी खातिर मैं छोड़ दूँ दुनिया दिल है... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका · हास्य-व्यंग्य 2 52 Share नंदलाल सिंह 'कांतिपति' 27 Sep 2024 · 1 min read खटाखट नोट छापो तुम कानून हैं कड़वे, तनिक डर से न कांपो तुम। मजे से तोड़ कर धारा, हिमालय को भी टापो तुम। जो करतीं काम सरकारें, उसी में खुद भी लग जाओ। भगाना... Hindi · कविता · मुक्तक · हास्य-व्यंग्य 1 126 Share नंदलाल सिंह 'कांतिपति' 27 Sep 2024 · 1 min read वो कविताचोर है वो कविताचोर है कहकर न ढाओ ज़ुल्म वंदे पर। असर प्रतिकूल होता है, किसी सज्जन के धंधे पर। अगर औलाद है कविता, रहे स्वच्छंद यह अच्छा। कभी मम्मी की गोदी... Hindi · कविता · मुक्तक · हास्य-व्यंग्य 1 203 Share नंदलाल सिंह 'कांतिपति' 27 Sep 2024 · 1 min read तूॅं कविता चोर हो जाओ तिकोना हो, बिना मेहनत किए चौकोर हो जाओ। जहाॅं बस ना चले अपना, वहाॅं गमखोर हो जाओ। कमाना नाम हो औ हो, अगर तुम दाद के भूखे। मेरे भाई न... Hindi · कविता · मुक्तक · हास्य-व्यंग्य 1 148 Share नंदलाल सिंह 'कांतिपति' 5 Sep 2024 · 1 min read कांतिपति की कुंडलियां पैसा ही है आजकल, जीने का आधार। लेता था स्थान जो, कभी आपसी प्यार। कभी आपसी प्यार, लिए हम जी लेते थे। सारे ग़म व ऑंसू, मिल कर पी लेते... Hindi · कविता · कुण्डलिया · हास्य-व्यंग्य 1 59 Share Sudhir srivastava 30 Aug 2024 · 3 min read यमराज का आफर मेरे प्यारे भाइयों बहनों शुभचिंतकों कुछ दुश्मन हैं तो दुश्मनों आप सब मिलकर या चाहें तो फुटकर फुटकर मेरा बहुत अहसान मानिए, मेरी तारीफों के पुल बांधिए, मेरी जय जयकार... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 42 Share Sudhir srivastava 27 Aug 2024 · 1 min read दोहा भेदभाव करते रहें, बनेंगे सारे काम। तारीफों के संग में, मिल जाएंगे राम।। देशद्रोह के आप सब, करते रहिए काम। खुशहाली के संग में, मिले सुखद परिणाम।। ममता जी ममतामयी,... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 45 Share Buddha Prakash 20 Aug 2024 · 1 min read मान जाने से है वो डरती खबर किस बात की लेनी थी , अक्सर ये मालूम नहीं होता, खबर उनकी जो तकनी थी, उनको मालूम तभी से थी, अब सिर्फ बात बिगड़नी थी, अपनी हर रात... Hindi · कविता · हास्य-व्यंग्य 1 61 Share Sudhir srivastava 4 Aug 2024 · 2 min read मुझे शिकायत है मुझे शिकायत है हर किसी से ही नहीं अपने आप से भी क्योंकि यही मेरी आदत है, शायद इससे मुझे सूकून का अहसास होता है, सुख चैन की नींद आती... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 52 Share Sudhir srivastava 25 Jul 2024 · 2 min read रामराज्य का आदर्श राम राज्य का अपना आदर्श था जिसकी चर्चा करना व्यर्थ है, अच्छा होगा पहले रामजी के आदर्श का अपने जीवन में जो अनुराग भरता हो, उसे ही राम याराम राज्य... Hindi · हास्य-व्यंग्य 62 Share Suryakant Dwivedi 22 Jul 2024 · 1 min read मोहल्ला की चीनी मुहल्ले जब से कॉलोनी हुए हैं पता ही नहीं चलता पड़ोसी के घर क्या पका है। पहले कटोरी ले चीनी मांगते थे आये दिन चीनी खत्म हो जाती पड़ोस में... Hindi · कविता · हास्य-व्यंग्य 95 Share Sudhir srivastava 18 Jul 2024 · 2 min read जल संरक्षण जल संरक्षण की चर्चा परिचर्चा आज कोई नई बात तो नहीं, यह और बात है कि हमनें, आपनें इस पर कभी गौर किया ही नहीं। जब गौर ही नहीं किया... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 51 Share Sunny kumar kabira 4 Jul 2024 · 2 min read चुनाव का मौसम हमारे पर्यावरण में ऐसे तो मुख्यतः चार तरह के ही मौसम (ग्रीष्म,शीत,वर्षा एवं वसंत)है।जो पृथ्वी के परिक्रमण के कारण बदलते रहते हैं। ये मौसम प्राकृतिक होते है,किंतु इसके अपवाद में... Hindi · कहानी · कोटेशन · निबंध · पुस्तक समीक्षा · हास्य-व्यंग्य 1 1 84 Share Shailendra Aseem 4 Jul 2024 · 2 min read दूबे जी का मंच-संचालन एक बार दूबे जी साइकिल से जा रहे थे दूसरे की चुराई हुई कविता गुनगुना रहे थे बड़ा ही आराम था शाहपुर में काम था जाने क्या सोचकर मेरे मोहल्ले... Hindi · कविता · हास्य-व्यंग्य 1 53 Share DrLakshman Jha Parimal 27 Jun 2024 · 1 min read “ गोलू का जन्म दिन “ ( व्यंग ) डॉ लक्ष्मण झा “ परिमल “ ==================== मालिक ! आप सब का जन्म दिन मनाते हैं , सबों के लिए सुंदर – सुंदर कैक आप लाते हैं ! आस-पड़ोस, संगी-साथी... Hindi · हास्य-व्यंग्य 95 Share Sunny kumar kabira 24 Jun 2024 · 1 min read जियो जी भर के, तुझे लगता है ?तुम जिंदा हो, तुझे लगता है ?तुम खुश हो, तुझे लगता है ?तुम स्वस्थ हो, तो वहम है तुम्हारी । जिंदगी के हर एक पल, तुम मृत्यु... Hindi · कविता · मुक्तक · संस्मरण · हास्य-व्यंग्य 3 83 Share Suryakant Dwivedi 23 Jun 2024 · 1 min read राजनीतिक योग राजनीतिक योग गहरी साँस लीजिये तीन उंगली आंख पर लगाइये अंगूठे से कान बन्द कीजिये आँख ऐसे बन्द कीजिये कि बाहर का कुछ दिखाई न दे दोनों कान भी इस... Hindi · Satire · हास्य-व्यंग्य 52 Share Dr Mukesh 'Aseemit' 18 Jun 2024 · 1 min read सरकारी जमाई -व्यंग कविता रुक गए तीर बाप के ताने के , आने लगे रिश्ते घरजमाई बनाने के। हर तरफ बधाई और वाह वाही है , मुस्कुराइए कि आप सरकारी जमाई हैं। मोहाले की... Hindi · कविता · हास्य-व्यंग्य 84 Share Dr Mukesh 'Aseemit' 18 Jun 2024 · 1 min read **कविता: आम आदमी की कहानी** राशन की लम्बी लाइन, थकान से चूर काम हूँ, किश्तों की मार में, पिसता सुबह और शाम हूँ, रेल ,बस की धक्कामुकी और ट्रैफिक जाम हूँ , क्या करूँ में... Hindi · कविता · मुक्तक · हास्य-व्यंग्य 103 Share Suryakant Dwivedi 17 Jun 2024 · 4 min read कारण अकारण व्यंग्य कारण के आगे कारण कारण के पीछे कारण कारण के आगे भी कारण होते हैं। कारण के पीछे भी कारण होते हैं। कारण कभी कारण नहीं होता। कारण कभी... Hindi · लेख · हास्य-व्यंग्य 63 Share Dr Mukesh 'Aseemit' 16 Jun 2024 · 3 min read "पिता दिवस: एक दिन का दिखावा, 364 दिन की शिकायतें" अरे वाह! पितृदिवस फिर आ गया, अब हम सब एक दिन के लिए 'पापा प्रेमी' बन ही जाते हैं। सोशल मीडिया पर सेल्फियों की बाढ़ आ जाएगी और हम यह... Hindi · कहानी · लेख · संस्मरण · हास्य-व्यंग्य 92 Share Dr Mukesh 'Aseemit' 11 Jun 2024 · 4 min read आज रविवार है -व्यंग रचना आज रविवार है, आप सोच रहे होंगे जैसे आप सभी के लिए रविवार ख़ास होता है मेरे लिए भी होगा ! नौकरीपेशा लोगों के लिए तो में समझ सकता हूँ... Hindi · लेख · हास्य-व्यंग्य 124 Share Dr Mukesh 'Aseemit' 11 Jun 2024 · 5 min read परामर्श शुल्क –व्यंग रचना पेशे से डॉक्टर हूँ, और चूंकि मेरे घर का खर्चा भी इसी डॉक्टरी से चलता है, तो जाहिर है, मेरी नज़रें परामर्श शुल्क पर वैसे ही टिकी रहती हैं जैसे... Hindi · लेख · हास्य-व्यंग्य 139 Share Atul "Krishn" 7 Jun 2024 · 3 min read जी हमारा नाम है "भ्रष्ट आचार" जी हमारा नाम "भ्रष्ट आचार" है हमारा स्वाद बड़ा ही तीखा और चटपटेदार है ! वैसे तो हम वैदिक काल से ही हैं ! पर मुग़ल के जमाने से मेरा... Hindi · लघु कथा · हास्य-व्यंग्य 93 Share Sudhir srivastava 5 Jun 2024 · 2 min read पर्यावरण संरक्षण का नारा लो जी! फिर से आ गया पर्यावरण दिवस तो आइए! एक बार फिर इस दिवस की तनिक औपचारिकता मिलकर निभाइए अन्य दिवसों की तरह इस दिवस का भी जमकर उपहास... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 76 Share Sudhir srivastava 4 Jun 2024 · 2 min read मैं जगत नियंता बना अभी अभी जगत नियंता से मुलाकात हो गई मुलाकात क्या हुई चुनावी दौर में मेरी चाल परिणाम आने से पहले ही सफल हो गई । मैंने उन्हें साष्टांग प्रणाम किया... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 58 Share DrLakshman Jha Parimal 4 Jun 2024 · 2 min read “ सर्पराज ” सूबेदार छुछुंदर से नाराज “( व्यंगयात्मक अभिव्यक्ति ) डॉ लक्ष्मण झा " परिमल " ==================== सर्पराज आजकल नाराज चल रहे थे ! वो नाराजगी थी सूबेदार छुछुंदर से ! विश्वास करके सर्पराज ने छुछुंदर को सूबे का नेतृत्व... Hindi · हास्य-व्यंग्य 97 Share Sudhir srivastava 31 May 2024 · 1 min read ईमानदारी का सबूत वाहहहहहहहह ये ईमानदारी इसी ईमानदारी पर तो हम फ़िदा हैं। एक बार फिर जब उसने अपनी कट्टर ईमानदारी का सबूत दे दिया बड़ी ईमानदारी से अपनी बात साफ साफ़ कह... Hindi · हास्य-व्यंग्य 49 Share Santosh kumar Miri 29 May 2024 · 1 min read नवतपा की लव स्टोरी (व्यंग्य) नवतपा की लव स्टोरी ऐ नवतपा मुझे इतना न सता हर साल तू अपनी औकात न बता हर हाल में मुझे चलने आता है तू बार बार मुझे ही सताता... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 1 117 Share Karuna Goswami 23 May 2024 · 1 min read रेस गधे और घोड़ों को रेस में दौड़ना था । और प्राथमिकता यह थी, कि गधों को ही प्रथम स्थान लाना था। कुछ शिक्षक, कुछ चिकित्सक, कुछ व्यापारी और कुछ मंत्रीगण... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 64 Share Neeraj Mishra " नीर " 20 May 2024 · 1 min read मैं कीड़ा राजनीतिक एक राजनीतिक विशेष मंच पर एक नेता जी का भाषण प्रारंभ हुआ सुरुआत में उन्होंने बड़े नखरीले अंदाज में हाथ को हवा में ऐसे लहराया मानो माछरों के झुंड को... Poetry Writing Challenge-3 · कविता · हास्य · हास्य-व्यंग्य 1 124 Share Diwakar Mahto 12 May 2024 · 1 min read प्यार विश्वाश है इसमें कोई वादा नहीं होता! प्यार विश्वाश है इसमें कोई वादा नहीं होता! प्यार कभी भी कम या ज्यादा नहीं होता! बस थोड़ा सा प्यार चाहिए होता है हमें , किसी को तकलीफ़ पहुँचाना हमारा... Poetry Writing Challenge-3 · कोटेशन · मुक्तक · शेर · हास्य-व्यंग्य 146 Share Diwakar Mahto 12 May 2024 · 1 min read कर्म ही पूजा है । मंदिर में जाना जरुरी नहीं। ये कर्मभूमि है यहाँ कर्म ही पूजा है।। यहाँ हर कई अपना है। ना कोई पराया है ना कई दुजा है । राधे राधे -दिवाकर... Poetry Writing Challenge-3 · कोटेशन · मुक्तक · शेर · हास्य-व्यंग्य 96 Share Diwakar Mahto 12 May 2024 · 1 min read नींद यह दुनिया है दोस्तों । यहाँ कोई किसी का नहीँ होता ।। लोग तभी य़ाद करते हैं। जब किसी की नींद मुकम्मल नहीं होता।। --दिवाकर महतो बुण्डू, राँची (झारखंड) Poetry Writing Challenge-3 · कोटेशन · शेर · हास्य-व्यंग्य 120 Share मिथलेश सिंह"मिलिंद" 12 May 2024 · 1 min read शोषण (ललितपद छंद) रोटी अपनी गरम तवे पर, सेंक-सेंक सब खाते। संचालक बन करें डकैती, जनता को भरमाते।। करने वाले कृषक हमारे, अन्न अधिक उपजाते। अपने हिस्से की फसलों का, दाम अधूरा पाते।।... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 57 Share मिथलेश सिंह"मिलिंद" 12 May 2024 · 1 min read चौपाई छंद बदली जग की कार्य प्रणाली। यक्ष बना खुद आज सवाली।। बहरा सुने बात फरियादी। उलट-पुलट यह मनु आजादी।। गूंगा लगा आज चिल्लाने। अपनी बात श्रेष्ठ जग माने।। आँखों वाला आँख... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 49 Share अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम' 6 May 2024 · 1 min read जी करता है , बाबा बन जाऊं – व्यंग्य *जी करता है बाबा बन जाऊं* बाबा बनके प्रॉपर्टी बनाऊं अपना खुद का बिज़नेस चलाऊं जी करता है , बाबा बन जाऊं जी करता है , बाबा बन जाऊं धर्म... Poetry Writing Challenge-3 · कविता · हास्य-व्यंग्य 1 93 Share Rajesh Kumar Kaurav 5 May 2024 · 1 min read संवेदना बदल गई संवेदना बदल गई नये रूप में हो गई दुःख दर्द के फोटो मोबाइल से खीचते । सहयोग करना दूर फोटो अब मशहूर भेज भेज ग्रुपो पर वाह वाही ही लूटते।... "संवेदना" – काव्य प्रतियोगिता · हास्य-व्यंग्य 2 83 Share ललकार भारद्वाज 2 May 2024 · 1 min read शादी और साली सर पर सेहरा बांध के मेरे, मंद मंद मुस्कानते हो। सारी चिंता सौंप के मुझको, बड़े चैन से जाते हो।। हंसी नहीं रुकती हैं अब तो, बहुत ही तुम इतराते... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 1 77 Share ललकार भारद्वाज 2 May 2024 · 1 min read मित्र धर्म पोल खोल कर रख दोगे, क्या, मित्र धर्म को भूल गए मित्र छुपाए राज सभी, क्यो, मित्र शर्म को भूल गए हसी मजाक ठीक सभी, क्या, मित्र मर्म को भूल... Poetry Writing Challenge-3 · हास्य-व्यंग्य 57 Share Sudhir srivastava 1 May 2024 · 4 min read राम नवमी मना रहे हैं आज रामनवमी है तो आइए!हम भी राम जन्मोत्सव मनाते हैं, खूब नाचते गाते इतराते हैं साथ ही इसे भी औपचारिक बनाते हैं। प्रभु श्रीराम जी को खूब भरमाते हैं रामनवमी... Hindi · हास्य-व्यंग्य 1 54 Share Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD 28 Apr 2024 · 1 min read "भँडारे मेँ मिलन" हास्य रचना बाद मुद्दत के मिली, आज वो भँडारे मेँ, इक अहद बीत गया, उसके बस सहारे मेँ। सहर होती कहाँ थी, बिन उसे देखे हरगिज़, हाय वो दिन, मिला करते थे... Hindi · हास्य-व्यंग्य 4 6 139 Share Sudhir srivastava 18 Apr 2024 · 2 min read यमराज का हुड़दंग जब से कट्टर ईमानदार नेता को अगवाकर मंदिर में पूजा करने के लिए गाजे बाजे के साथ ले जाया गया, बेचारे यमराज का दिल टूट गया, अब वो हाथ जोड़कर... Hindi · हास्य-व्यंग्य 129 Share Divya kumari 11 Apr 2024 · 1 min read प्यार का दुश्मन ये जमाना है। प्यार का दुश्मन ये जमाना है। हमें कैसे भी एक दूसरे को पाना है।। हाय कैसा ये जमाना है। सरकारी नौकरी वाले दामाद का दीवाना है।। Hindi · हास्य-व्यंग्य 2 117 Share Dr. Kishan tandon kranti 6 Apr 2024 · 1 min read चिन्ता स्टूडेंट्स का जलवा देखो आजकल घर बैठे इम्तहान हो रहे, तभी अन्दर से आवाज आई मुंगेरी दा आप क्यों परेशान हो रहे? यह सुनकर मुंगेरी दा धीरे से फिर अपना... Hindi · हास्य-व्यंग्य 3 3 99 Share Page 1 Next