rekha rani 105 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid rekha rani 2 Jun 2021 · 1 min read जानते हैं कि बरसात क्या होती है जानते हैं कि बरसात क्या होती है जब किसी किसान के खेत से फसल काट कर घर ले जाई जाती है। उसकी बीबी प्यार से उसको सुंगा रही होती है... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 460 Share rekha rani 2 Jun 2021 · 1 min read देखो तो बरसात है आई देखो तो बरसात है आई मेंढक राजा लेकर छाता घूम रहे तालाब में। मोर भी खुश हो नाच रहे हैं देखो कितने बाग में। बच्चे छप छप नहा रहे हैं।... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 749 Share rekha rani 2 Jun 2021 · 1 min read "ममता की बरसात" एक चाह मेरी है मां गोदी में लिटा कर मुझको वो प्यार का सावन दे दो। कुछ और चाह न मेरी, बस गोद मिले मां तेरी। जन्नत है मुझे क्या... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · गीत 2 1 507 Share rekha rani 2 Jun 2021 · 1 min read बरसात आंसुओं की छलक छलक जाए धरती मां तेरी पीड़ा नैनो में ना समाए। बरसात आंसुओं की छलक छलक जाए। नादान हाय मानव करता है तेरा दोहन। कैसे यों नौंच डाले इसने मां तेरे ये आभूषण।... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · गीत 1 1 383 Share rekha rani 30 May 2021 · 1 min read बरसातें बचपन की वो बरसातें,भूले नहीं हैं हम। कागज़ की छोटी कश्ती , दिन भर चलाते हम। न छाता चहिए था, न रेन कोट कोई। छम - छम बरसता पानी,कॉपी पुरानी... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 3 3 567 Share rekha rani 3 Feb 2021 · 1 min read प्रेम की पाती मैंने प्रेम की पाती लिखी है, तुमको जीवन साथी लिखी है। कोरा कागज़ है मन मेरा नाम लिखा है जिस पर तेरा। भावों की लेकर के स्याही, प्रीत की मैंने... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 8 45 792 Share rekha rani 15 Dec 2020 · 1 min read ज़रूर मेरे महकते गुलशन को किसी की नजर लगी होगी ज़रूर मेरे महकते गुलशन को किसी की नजर लगी होगी। जहां महकती थी खुशबू नन्हीं कलियों की, वहां सैनिटाइजर की दवा फिजाओं में लगी होगी। जहां बढ़ते थे कारवां स्कूल... "कोरोना" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 56 55 4k Share rekha rani 21 Oct 2020 · 1 min read रफ़्तार ज़िन्दगी की कुछ थम सी गई है सांसो की धीमी आहट कुछ थम सी गई है। आंखों की इस नमी को, बस आंख जानती है। अनजान है पलकें, क्या ख़ाक जानती हैं। ख्वाबों की बस्ती सारी कुछ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 5 635 Share rekha rani 26 Aug 2020 · 1 min read विरहन का सावन जिनके पिया सरहद पर पड़े हैं ,वो क्या सावन गाएं। निश -दिन बरसें नयन विरह में ,घुमड़ -घुमड़ हिय जाएं। मन पर छाई मोरे कारी बदरिया, अंखियों से बरसे बन... Hindi · गीत 2 3 702 Share rekha rani 26 Aug 2020 · 1 min read प्रेम की पाती राष्ट्र के नाम लिख कर देखो प्रेम की पाती , एक राष्ट्र के नाम। राधा जैसा रूप धरा का, श्याम सजीली शाम। सचमुच तुमको राष्ट्र प्रेम का नशा अगर चढ़ जाएगा। केसरिया रंग... Hindi · गीत 2 3 373 Share rekha rani 11 Apr 2020 · 1 min read औकात हम इंसानों की वाह ! री कुदरत , तूने हम इंसानों को , हमारी असली औकात दिखा दी। छेड़ -छाड़ तेरे अस्तित्व के साथ , उसकी किस रूप में सजा दी। गुमान बहुत... Hindi · कविता 4 2 482 Share rekha rani 9 Apr 2020 · 2 min read भूख भी ख़ुद्दारी से हारी दिवस का अंतिम प्रहर , घर की दहलीज भी हार चुकी, बाट जोह कर । जाने को तैयार है रवि भी, किरण- रश्मियां भी असफल रहीं , ला न सकीं... Hindi · कविता 2 1 724 Share rekha rani 4 Apr 2020 · 1 min read ज़रूर मेरे महकते गुलशन को किसी की नजर लगी होगी ज़रूर मेरे महकते गुलशन को किसी की नजर लगी होगी। जहां महकती थी खुशबू नन्हीं कलियों की, वहां सैनिटाइजर की दवा फिजाओं में लगी होगी। जहां बढ़ते थे कारवां स्कूल... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 1 501 Share rekha rani 2 Apr 2020 · 1 min read पीड़ा धरती मां की( कोरो ना आधारित) भारत माता, स्वप्न में आई, आकर के मुझसे बोली। सोई नहीं हूं मैं तो तनिक भी , तू कैसे? ऐसे सो ली । किसने किया यह कृत्य घिनौना, किसने बदरंग... Hindi · कविता 1 398 Share rekha rani 30 Dec 2019 · 1 min read संदेश २०१९ का -: वक़्त के आगोश में ,मैं ! दोस्तों सो जाऊंगा। लम्हा -लम्हा जी लो मुझको ,लौट के ना आऊंगा। ध्यान रख, मैं ! हूं तेरा आज, कर तू मुझ पर नाज।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 1k Share rekha rani 30 Dec 2019 · 1 min read जीत का यह जश्न देख ख्वाब मुस्कुराए हैं -: टूटी सी उम्मीदो ने फ़िर दिए जलाए हैं। कर्म की इन बस्तियों में गांव फिर बसाए हैं। फिर से मेरी आंखों ने नव स्वप्न सजाए है फिर से मेरे चित्त... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 347 Share rekha rani 23 Dec 2019 · 1 min read नागरिकता बिल पर मुझे मेरा प्यारा वतन चाहिए, चहुं ओर शांति अमन चाहिए। कोहरे की चादर पसंद है मुझे, न दिखे जो सूरज पसंद है मुझे। नफरत की मुझको ना धुंध चाहिए। नहीं... Hindi · कविता 518 Share rekha rani 16 Dec 2019 · 1 min read नमूना मां की पसंद का मैंने बचपन से देखा मां को बुनते हुए, अपनी पसंद का नमूना चुनते हुए। वह डालकर नित नए नमूने स्वेटर बनाती थी। अपनी पसंद के गुड्डे - गुड़िया उसमें सजाती... Hindi · कविता 2 669 Share rekha rani 16 Dec 2019 · 1 min read अहमियत उम्र के ढलते पड़ाव की उम्र के ढलते पड़ाव की होती है अपनी खास अहमियत। एक -एक बाल में सिमटा होता है, तजुर्बा मानो एक एक युग का जो देता है सीख तुम्हें, जुड़ने और... Hindi · कविता 2 1 536 Share rekha rani 11 Dec 2019 · 1 min read डर सताता है क्यूं रात को ख्वाब में आई बेटी मेरी मुझसे करने लगी दर्द अपना बयां । ऐसा होता है क्यूं, राह चलने में यूं। रास्ते में अकेले निकलते हुए डर सताता है... Hindi · गीत 2 1 534 Share rekha rani 9 Dec 2019 · 1 min read संघर्ष थकाता बहुत है ; सुना है मैंने इस संघर्ष थकाता बहुत है, मगर अंदर से बना देता है मजबूत, ए संघर्ष इतना न थका देना मुझे, कि एक दिन दोबारा उठने की हिम्मत ही... Hindi · कविता 1 360 Share rekha rani 7 Nov 2019 · 1 min read किसने चमन में हाय ये ख़ार बो दिए- की थी बड़ी मशक्कत महकाने में गुलों के, किसने चमन में हाए ये ख़ार बो दिए। महफ़िल में अश्क छलके खुशियों का नाम धरके, मौका मिला उन्हे तो चुपचाप रो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 386 Share rekha rani 1 Nov 2019 · 1 min read मेरी लाडली निश्चित घर संसार बसाना तू मेरी लाडली निश्चित ही घर संसार बसाना तू। सबसे पहले केवल अपने ही सपन सजाना तू। नहीं कहूंगी तुमसे कि सबको खुश तुम रखना। जिसमें खुश तू रहे हमेशा काम... Hindi · गीत 1 582 Share rekha rani 26 Oct 2019 · 1 min read तब होगी असली धनतेरस एक बच्चे के प्यार की खातिर, उसके हक अधिकार की खातिर l मोबाइल ,कंप्यूटर ,टीवी , मित्र मंडली, महफिल त्यागे। दो मीठे बोलो से पूरित बचपन के स्वर्णिम पल झांके।... Hindi · कविता 1 369 Share rekha rani 23 Oct 2019 · 1 min read उसका बचपन झांक रहा था आज एक होटल से गुजरी, एक हकीकत से यूं रूबरु आज मैं क्योंकर हुई। मैले चीथड़े और मैला तन जैसे तिरस्कृत हो कोई । यूं तो बर्तन मांज रहा था... Hindi · कविता 1 389 Share rekha rani 22 Oct 2019 · 1 min read ऐसे बसे शहर में (शहरी करण) ऐसे बसे शहर में गुमनाम हो गए उठने की हसरतों में बदनाम हो गए। हम सोचते हैं अक्सर, इससे था लाख बेहतर। अपना वो टूटा फूटा, छप्पर का छोटा घर।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 2 504 Share rekha rani 20 Oct 2019 · 1 min read गणित जिंदगी का जिंदगी तो खुद ही एक सवाल है, हर तरफ सवालों का ही जाल है। भिन्न-भिन्न परिस्थिति ही तो भिन्न हैं, इनसे ही घबरा के तो हम खिन्न हैं। जिंदगी के... Hindi · कविता 2 1 671 Share rekha rani 13 Oct 2019 · 1 min read आज शरद की रात आज शरद की रात ओ. प्रियतम आ जाना । सुने मन के निधिवन में सजीले मोहनाश्याम तू रास रचा जाना।। जाने कबसे ए मोहन नीरस सी पड़ी है वेणु,, गुम... Hindi · गीत 2 433 Share rekha rani 9 Oct 2019 · 1 min read कैसे मुस्कुराएं मन बता कैसे मुस्कुराएं। कैसे मुस्कराए,कैसे गुनगुनाएं। आधी सांसे लाडली में,आधी आज हमसफ़र में। फंसी है यह मेरी नैया बीच भंवर में। अब मेरी नैया वो ही पार लगाएं। मन... Hindi · गीत 2 362 Share rekha rani 11 Sep 2019 · 1 min read हम शिक्षक है हम शिक्षक है, हम मिटा कर अपनी हस्ती को तुम सी हस्तियां बनाते हैं। किन्तु शायद तुमने यह समझ लिया कि हम केवल हस्तियां बनाते ही हैं। बता देंगे तुझे... Hindi · मुक्तक 2 548 Share rekha rani 31 Aug 2019 · 1 min read दर्द जब हद से गुज़र जाएगा दर्द जब हद से गुजर जाएगा, दिल यह फिर कैसे सह पाएगा। पीर पर्वत सी मेरी, मन यह दर्द अब किसे सुनाएगा। मेरा दर्द सुनके सभी, बचकर निकलने लगे। कौन... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 428 Share rekha rani 23 Aug 2019 · 1 min read ज़माना तेरा कर्जदार न हो जाए: मैंने ज़माने भर से नफ़रत बटोर ली, हो सकता है कि इस नफरत से ही मैं फनकार हो जाऊं।.. लोग तो पीते हैं मय खानों में जाक र, मैंने घर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 399 Share rekha rani 19 Aug 2019 · 1 min read प्रेरणा एप को भी धूल चटा देंगे ??????????? हम में वो दम है कि हम प्रेरणा एप को भी धूल चटा देंगे। हम शिक्षक है सब बेसिक के, यदि अपनी जिद पर आए इस नानी याद दिला... Hindi · कविता 2 512 Share rekha rani 18 Aug 2019 · 1 min read प्रेरणा एप ??????????? भोर होना नहीं टलता , अंधेरों के डर से लहरें मंज़िल से भटकती नहीं तूफ़ान से डर के। दौर ए गर्दिशे चले तो चलता रहे,हम सफर करना नहीं छोड़ेंगे... Hindi · कविता 2 390 Share rekha rani 12 Aug 2019 · 1 min read वक़्त कोई अनछुआ सा पल रह न जाए। कोई अन कहा सा शब्द रह न जाए। बीते समय की तलाश में, खोए सुखों की आस में , कोई सुनहरा अवसर कहीं... Hindi · कविता 2 357 Share rekha rani 12 Aug 2019 · 1 min read मित्रता दिवस चहुं ओर प्रेषित मित्र-दिवस की शुभकामनाएं। किंतु क्या सच्चा मित्र कौन यह पहचान पाए। मित्र कौन सच्चा आज यह जानिए। सच्चे मित्र की पहचान जानिए। तृप्त हृदय को जो सरस... Hindi · मुक्तक 2 1 822 Share rekha rani 6 Aug 2019 · 1 min read लाल की ललकार भारत मां की पीड़ा जब सह नहीं पाया है। तब होकर के क्रुद्ध सिंह बड़ी जोर दहाड़ा है। हद होली अब पाक तेरी कहकर गुर्राया है। तुमने भारत मां को... Hindi · गीत 3 670 Share rekha rani 6 Aug 2019 · 2 min read राष्ट्र तुम्हें नमन करेगा मेरी भारत माता को पूर्ण जो तुमने किया है। अधूरे मानचित्र को भाल जो तुमने दिया है। राष्ट्र तुम्हे नमन करेगा ए मोदी नमन करेगा गर्व यह राष्ट्र करेगा।।२ मैं... Hindi · कविता 1 710 Share rekha rani 4 Aug 2019 · 1 min read मित्रता दिवस- चलो आज मिलकर नया राग छेड़ें चलो आज हम बेवजह मुस्कुरा लें। न ढूंढ़े वजह कोई खुशियों की यारां। जब भी मौका मिले दिल से खुशियां मना लें। बहुत उलझनें... Hindi · कविता 1 602 Share rekha rani 3 Aug 2019 · 1 min read कहां से लाऊं वह सावन - अमुवा की डाली में झूला डलवाना वो सखियों संग पेंग बढ़ाना। मिलजुल प्रेम से सावन गाना। वो कोयल का राग सुहाना । ढूंढ रहा है मन बेचारा, कहां से लाऊं... Hindi · कविता 1 708 Share rekha rani 29 Jul 2019 · 1 min read चलो आज चौपाल लगाएं चलो आज चौपाल लगाएं, एक ऐसी चौपाल जिसमें बातें हों जल की -थल की, नभ की -धरा की, पर्यावरण संरक्षण की, वृक्षों से सजी धरा की। जिसमें बुजुर्ग गार्गी ,विद्योत्तमा... Hindi · कविता 336 Share rekha rani 29 Jul 2019 · 1 min read जल ही जीवन है जल ही तो जीवन है। जल से ही तो कल है जल ही न बचाओगे। कल कैसे बचाओगे। जब वृक्ष लगाओगे ,वर्षा होगी इनसे। वर्षा के जल को तुम संचित... Hindi · गीत 653 Share rekha rani 25 Jul 2019 · 1 min read मैं कुछ- कुछ बदलने लगी हूं - पहले खुश होती थी अपनों की ख़ुशी से, अब खुश अपने से होने लगी हूं। ज़िंदगी का आधा पड़ाव, धूप और उमस में गुज़ार दिया, अब खुद छांव में रहने... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 414 Share rekha rani 25 Jul 2019 · 1 min read चल खुलकर जी,- मत जी डर डर के यूं ज़िंदगी इस कदर मेरे दोस्त ! इसे अपनी ज़िंदगी का हिस्सा बना ले , जब भी मौका मिले अहसास पिरोने का चल ए मन... Hindi · कविता 520 Share rekha rani 8 Jul 2019 · 2 min read वह भी परी है अपने पापा की- वह मां जो बड़े चाव से, बेटे को पाल पोस कर लायक बनाती है। उसकी हर कामयाबी पर , बड़े गुमान से दीपक घी का जलाती है। अपने बेटे के... Hindi · कविता 589 Share rekha rani 5 Jul 2019 · 1 min read मेरी वापसी के बाद- आंखों में लिए अश्रुओं की बरसात, दिल में समेटे सूने पन का अहसास। आती है दरवाजे तक साथ - साथ , ऐसे छुपाती है सारा गम कि, हो न पाए... Hindi · कविता 1 630 Share rekha rani 2 Jul 2019 · 2 min read शिक्षक चौपाई जिन्ह के रही भावना जैसी , इही नौकरी देखि तिन्ह तैसी। राम सिया राम सिया राम जय जय राम। धन्य भाग हैं अति बड भागी, हमहिं मिलहिं जो तुम्हरी कापी... Hindi · कुण्डलिया 1 834 Share rekha rani 1 Jul 2019 · 1 min read हवाओं को गुनगुनाने दे - आज फिर से कोई नया गीत लिखकर, स्वछंद, उन्मुक्त हो मन खिलखिलाकर मुस्कुराने दे। छेड़ तान इस अंदाज में, नदियां साज सजाकर कहें, कि तू लय भर जीवन में, और... Hindi · कविता 1 384 Share rekha rani 30 Jun 2019 · 1 min read चलो चलें भविष्य निर्माण की ओर -: चलो चलें भविष्य निर्माण की ओर, थामे हुए उत्साह से विश्वास और उम्मीद की डोर। तुम्हारे हाथों में भारत का आने वाला कल है, वह अबोध बालक मां की तपस्या... Hindi · कविता 1 500 Share rekha rani 22 Jun 2019 · 1 min read मेरी मां उठ जाती है रोज सवेरे भोर से पहले, समेट कर खुद की ख्वाहिशें घर के काम के साथ, चल देती है दो जून की रोटी के लिए , बिना जाने... Hindi · कविता 1 634 Share Page 1 Next