दो घड़ी बसर कर खुशी से
VINOD CHAUHAN
यादों का बुखार
Surinder blackpen
खाने में थूक! छी
Sanjay ' शून्य'
अनजाने से .....
sushil sarna
कटे पेड़ को देखने,
sushil sarna
4432.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
पीत पात सब झड़ गए,
sushil sarna
रुख आँधी का देख कर,
sushil sarna
पता नही क्यों लोग चाहत पे मरते हैं।
इशरत हिदायत ख़ान
अपने दर्द को अपने रब से बोल दिया करो।
इशरत हिदायत ख़ान
ज़िन्दगी का यक़ीन कैसे करें,
Dr fauzia Naseem shad
#कुछ_भी_कहीं_भी_मतलब_बेमानी
*प्रणय प्रभात*
" अगर "
Dr. Kishan tandon kranti
" घोंघा "
Dr. Kishan tandon kranti
" सूरज "
Dr. Kishan tandon kranti
गई सुराही छूट
RAMESH SHARMA
"फागुन में"
Dr. Kishan tandon kranti
"क्षमादान"
Dr. Kishan tandon kranti
"जीभ"
Dr. Kishan tandon kranti
कभी कभी एक पल
Mamta Rani
दुखा कर दिल नहीं भरना कभी खलिहान तुम अपना
Dr Archana Gupta
दुखा कर दिल नहीं भरना कभी खलिहान तुम अपना
Dr Archana Gupta
यही है मेरा संसार
gurudeenverma198
समुद्र का नजारा सुंदर हैं।
Neeraj Agarwal
एक वक्त था जब ज़माना अपना था और तुम अजनबी से, अब देखो ज़माना
कविता झा ‘गीत’
मेरी ज़रूरतें हैं अजब सी बड़ी, कि मैं,
Kalamkash
यह वर्ष हमारी नगरी के श्री राम लीला समारोह का 75वां (हीरक जय
*प्रणय प्रभात*
कविता.
Heera S
गहराई.
Heera S
वादा
Heera S
किसी के मर जाने पर उतना नहीं रोया करता
शिव प्रताप लोधी
सूरत अच्छी ,नीयत खोटी दर्पण देख रहे हैं लोग ,
Manju sagar
अब ये हाथ मुझे चुभने लगे हैं
Jyoti Roshni
मुक्तक
प्रीतम श्रावस्तवी
*सीखें हिंदी गर्व से, इसमें बसता देश (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
जनता के वोट रूपी साबुन से, केजरीवाल नहायेंगे
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
*जीवन-साथी यदि मधुर मिले, तो घर ही स्वर्ग कहाता है (राधेश्या
Ravi Prakash
एक दिन
हिमांशु Kulshrestha
तू साथ नहीं
Chitra Bisht
बेवफ़ा जब हुए आँखों में बसाने वाले
आकाश महेशपुरी
सरसी छन्द
Dr.Pratibha Prakash
दामन जिंदगी का थामे
Chitra Bisht
भाषाओं पे लड़ना छोड़ो, भाषाओं से जुड़ना सीखो, अपनों से मुँह ना
DrLakshman Jha Parimal
रंग -भेद ना चाहिए ,विश्व शांति लाइए ,सम्मान सबका कीजिए,
DrLakshman Jha Parimal
प्रस्तुत है आपकी सेवा में चित्र पर आधारित यह :-गजल
Aasukavi-K.P.S. Chouhan"guru"Aarju"Sabras Kavi
एक दो गाना संस्कृत में
मधुसूदन गौतम
4431.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
करो प्रतीक्षा!
*प्रणय प्रभात*
4430.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
4428.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti