सुनील कुमार 202 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 3 Next सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read दीन की सेवा कर प्यारे---- दीन की सेवा कर प्यारे, ले लो पुण्य कमाय। तन धोवै कुछ ना मिलै, लाख त्रिवेणी नहाय।। Hindi · दोहा 1 163 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read नाव कबहुँ गाड़ी चढ़ै---- नाव कबहुँ गाड़ी चढ़ै, गाड़ी कबहुँ नाव। तू हरि को संवार दे, हरि संवारेगा तोय।। Hindi · दोहा 1 225 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read ईर्ष्या-द्वेष बहुधा किया---- ईर्ष्या-द्वेष बहुधा किया, कर मानुष प्रेम-दुलार। दुख सारा मिट जाएगा, सम्मुख सारा संसार।। Hindi · दोहा 1 231 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read नारी का सम्मान कर---- नारी का सम्मान कर, मत करो अपमान। ज्यौं नारी अपमान होई, होवै जग श्मशान।। Hindi · दोहा 245 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read नारि होवें जगदायिनी---- नारि होवें जगदायिनी ,मातृत्व जिसकी महान। माता-बहन सा देखिए, मिलै समृद्धि-सम्मान।। Hindi · दोहा 1 214 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read घर की मर्यादा नारि से----- घर की मर्यादा नारि से, मेरी मर्यादा नारि। वात्सल्य की प्रत्यक्ष रूप है, मान बढ़ावै अपार।। Hindi · दोहा 1 211 Share सुनील कुमार 22 Oct 2021 · 1 min read लज्जा काया नारि की--- लज्जा काया नारि की, शीलप्रिय ज्यौं नारि। सृष्टि की करती है सर्जना, प्रकृति की उपकार।। Hindi · दोहा 1 186 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read हे भारतभूमि नमो नमः हे भारतभूमि! हे मातृभूमि! हे कर्मभूमि! तुम्हें नमो नमः। हे ज्ञानभूमि! हे धर्मभूमि! हे स्वर्गभूमि! तुम्हें नमो नमः। हे कृषकभूमि! हे सैन्यभूमि! हे बलिदानभूमि! तुम्हें नमो नमः। हे शिक्षाभूमि! हे... Hindi · कविता 1 2 454 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read वक्त-वक्त की बात--- वक्त है तो सुखद है, वक्त नही तो दुःखद है। वक्त-वक्त की बात है, कि वक्त ही बेवक्त है।। Hindi · शेर 1 195 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read कुछ वक्त हमे भी दो---- कुछ वक्त हमे भी दो तो सही, यही वक्त की फरमाइश है। पास बैठकर मधुर बात करें, तुम्हारे आशिक़ की ख्वाहिश है।। Hindi · शेर 2 2 287 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read मलिन हुआ प्रभु जग तेरा---- मलिन हुआ प्रभु जग तेरा, कोई-केहू का नाहि। मात-पिता को खाट नही, सुत सोय रहा अटारि।। Hindi · दोहा 2 2 243 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read हिय में जब तक मैं रहा--- हिय में जब तक मैं रहा, दीपक नही दिखाई। मैं को हिय से निकालिया, हरि हिय-मध्य मुस्काई।। Hindi · दोहा 2 210 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read धरम-धरम चिल्लाई रहा----- धरम-धरम चिल्लाई रहा, धरम न जानै कोय। जामें मानुष का प्रेम भरा, साँच धरम सो होय।। Hindi · दोहा 2 4 226 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read कामी लोभी ना करै---- कामी लोभी ना करै, सुमिरन करै फकीर। कोयल शिशु जनमिया, पालै काग अमीर।। Hindi · दोहा 1 476 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read हरि जग में अब ना रहा------ हरि जग में अब ना रहा, असि मानुष की भूल। चारु फल सँवारि रहा, जस गूलर का फूल।। Hindi · दोहा 1 204 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read मधुप पराग चूस कर---- मधुप पराग चूस कर, अमृय लिया बनाय। मधुर फलों से वृक्ष लदे, मानुष तोड़ के खाय।। Hindi · दोहा 1 216 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read बोया पेड़ खजूर का---- बोया पेड़ खजूर का, छाया कहाँ से होय। पाप की गठरी भरि रहा, पुण्य प्राप्त कहाँ से होय।। Hindi · दोहा 1 266 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read तिनका-तिनका जोड़ि कै---- तिनका-तिनका जोड़ि कै, खोता लिया बनाय। जैसे शिशु जनमिया, सारिका दूर हो जाय।। Hindi · दोहा 1 200 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read जात-पात में क्या रखा---- जात-पात में क्या रखा, काया सबकी एक। यथा त्रिवेणी धारा बहै, आगे गंगा एक।। Hindi · दोहा 1 202 Share सुनील कुमार 13 Oct 2021 · 1 min read गुरु ज्ञान है बाँटि रहा---- गुरु ज्ञान है बाँटि रहा, मूरख समझै नाहि। समक्ष भैस के बीन बजावै, सो खड़ी रहै पगुराई।। Hindi · दोहा 1 416 Share सुनील कुमार 12 Oct 2021 · 1 min read जिन्दगी यूँ गुलजार हुई जिन्दगी यूँ गुलजार हुई, तुम्हें पाने के वास्ते। पर माना कि कठिन है, तुम्हें पाने के रास्ते।। Hindi · शेर 2 4 174 Share सुनील कुमार 11 Oct 2021 · 1 min read प्रभु !प्रिया तुम्हे पुकारि रहै---- प्रभु !प्रिया तुम्हे पुकारि रहै, आ जाओ मेरे पास। ब्याह रचाऊँ साथ तुम्हारे, जाऊँ तुम्हारे साथ।। Hindi · दोहा 2 2 236 Share सुनील कुमार 11 Oct 2021 · 1 min read दिन उबरत ना प्रभु बिना---- दिन उबरत ना प्रभु बिना, प्रिया कर रही विलाप। साथ तुम्हारे जाना है, छूटै सब जंजाल।। Hindi · दोहा 2 256 Share सुनील कुमार 11 Oct 2021 · 1 min read पिया-पिया मैं रट रही---- पिया-पिया मैं रट रही, प्रिय आवत हैं नाहि। दूर हुए हैं बहुत दिनों से,दिन बिसरत हैं नाहि।। Hindi · दोहा 1 561 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read हरि सदृश प्रिया ज्यौं मिले---- हरि सदृश प्रिया ज्यौं मिले, लेऊँ में ब्याह रचाई। अपना हिय में बैठा लूँ, जनम सफल होई जाई।। Hindi · दोहा 1 197 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read सब में एकहि लहू बहै---- सब में एकहि लहू बहै, जस नदियन कै नीर। राम-रहीम को न बांटिऐ, बांध कोई जंजीर।। Hindi · दोहा 1 277 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read खाली हाथ सब आये हैं------ खाली हाथ सब आये हैं, किया न मानुष सत्कार। सब यही छूट जाएगा, जाना है हाथ पसार।। Hindi · दोहा 1 421 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read साधु सुमिरन है करि रहा------ साधु सुमिरन है करि रहा, मनवा करै विचार। नाव घाट से छूटि रहा, ताहि लगावौ पार।। Hindi · दोहा 1 235 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read पाप की मटकी भर गई------ पाप की मटकी भर गई, काल सम्मुख बुलाई। दीपक पास नाचि रहा, पतंग जरि-मरि जाई।। Hindi · दोहा 1 244 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read काया मलि-मलि धुलि रहा----- काया मलि-मलि धुलि रहा, साबुन लेप लगाई। मीन जल में ही वास करै, गन्ध कबहुँ न जाई।। Hindi · दोहा 1 182 Share सुनील कुमार 9 Oct 2021 · 1 min read चिड़िया बैठी डाल पर---- चिड़िया बैठी डाल पर, खोता लिया बनाई। आंधी चला जब जोर की, बसेरा दिया उजारि।। Hindi · दोहा 1 484 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read पिय सा सुन्दर कोई ना------ पिय सा सुन्दर कोई ना, देखौं हिय में ताक। सदा पास जाकै रहूँ, मोहि ना कोई आस। #आत्मा/परमात्मा Hindi · दोहा 2 248 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read पिय मोहे भवन पधारिया---- पिय मोहे भवन पधारिया, हिय-पट रही लिपाई। साथ चली मैं जाऊंगी सखि, मायका सुधि बिसराई।। #आत्मा/परमात्मा Hindi · दोहा 2 394 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read काया कै कोई मोल ना----- काया कै कोई मोल ना, जस मदार कै फूल। संग पवन कै उड़ि रहा, बनकर माटी धूल।। Hindi · दोहा 2 359 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read डाली-डाली कली खिली--- डाली-डाली कली खिली, ज्यौं प्रसून बन जाय। भ्रमर पराग आस्वादन कर, देवै शहद बनाय।। Hindi · दोहा 2 436 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read शीतल सुगन्ध बिखेर रहा----- शीतल सुगन्ध बिखेर रहा, चंदन सर्प लिपटाई। कस्तूरी हृदय मध्य बसे,मृग खोजे अकुलाई।। Hindi · दोहा 2 185 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read जब पिय थे मैं ना रही---- जब पिय थे मैं ना रही, अब पिय हैं मैं नाहि। सब अंधियारा मिट गयो, पिय देखूं जब ताहि।। Hindi · दोहा 1 2 225 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read पिय वियोग बहु सह लिया----- पिय वियोग बहु सह लिया, दूरी अब ना सहाई। मोहि सन्देशा भेज दिया, साथ मोहि लै जाई।। Hindi · दोहा 1 235 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read पिय मोरा है राम सखि----- पिय मोरा है राम सखि, सो तो माहि चितचोर। साथ चली मैं जाऊंगी, होके डोली सवार।। Hindi · दोहा 1 195 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read प्रिय बुलावा भेजा मोहि---- प्रिय बुलावा भेजा मोहि , जाऊं मैं पिय के गांव। कल मायका छूट जायो, जस नदी-घट से नाव।। Hindi · दोहा 2 199 Share सुनील कुमार 8 Oct 2021 · 1 min read हरि ब्याहि मोहि संग सखी हरि ब्याहि मोहि संग सखी, लेवहिं पास बुलाई। संग प्रिय माहि रमण किये, मैं तो गई लजाई।। Hindi · दोहा 2 211 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read जामैं मानुष प्रेम भरा----- जामैं मानुष प्रेम भरा, साँच धरम कहिऐ ताहि। ईंट-ईंट को जोड़ि कै, दियो सुन्दर गेह बनाई।। Hindi · दोहा 2 182 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read मानुष-मानुष में द्वेष भरैं---- मानुष-मानुष में द्वेष भरैं, साँच धरम वह नांहि। ज्यौं पतझड़ पत्ती डाल से, निर्दय रहै बिछाड़ि।। Hindi · दोहा 2 177 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read साधु करम है करि रहा----- साधु करम है करि रहा, भाग्य भरोसा नाहि। मारग सफल हो जावै, भाग्य खड़ा मुस्काय।। Hindi · दोहा 2 273 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read कलियां पुष्प ज्यौं बन गईं----- कलियां पुष्प ज्यौं बन गईं, भ्रमर देख मुस्कुराय। वृक्ष मीठे फलों से लद गए, शुग्गा नोच के खाय।। Hindi · दोहा 2 188 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read नई पत्तियां खिल गईं---- नई पत्तियां खिल गईं, मनवा देख-देख हर्षाय। बोले पपीहा बागन में, मधुरिम गीत सुनाय।। Hindi · दोहा 3 2 188 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read कोयल बोले बाग में----- कोयल बोले बाग में, अमिया गई बौराय। नन्हीं कलियां खिल रहीं, भौरें रहै अकुलाय।। Hindi · दोहा 1 2 518 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read पतझड़ के दिन बीत गए----- पतझड़ के दिन बीत गए, माह बसन्त है आई। डाली-डाली खिल गयी, कोमल पात सजाई।। Hindi · दोहा 1 2 403 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read भूखा दर-दर भटकि रहा----- भूखा दर-दर भटकि रहा, क्षुधा रही सताय। एक रामफल देखि लिया, खावहिं भूख मिटाय।। Hindi · दोहा 2 191 Share सुनील कुमार 5 Oct 2021 · 1 min read सतजन प्रभु को समझ लिए----- सतजन प्रभु को समझ लिए, मूरख काहि बिसात। आदित्य प्रकाश बिखेर रहा, अज्ञ उल्लू समझै रात।। Hindi · दोहा 2 210 Share Previous Page 3 Next