Kapil Kumar 154 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 3 Next Kapil Kumar 9 Oct 2016 · 1 min read कभी तो अंधी आँखों में उजाला होगा जब आँखों में उसने अँधेरा पाला होगा आकर फिर सहेलियों ने सम्भाला होगा ***************************** बसाया होगा ये सोच के आँखों में हमे कभी तो अंधी आँखों में उजाला होगा *****************************... Hindi · मुक्तक 223 Share Kapil Kumar 8 Oct 2016 · 1 min read किसी के दिल की जबां हिचकियाँ बोल रही है किसी के दिल की जबां हिचकियाँ बोल रही हैं एक अहसास की हवा खिड़कियाँ खोल रही हैं *********************************** न मुमकिन भी नही अब पहुँचना उस तलक रूह उसी की तो... Hindi · मुक्तक 610 Share Kapil Kumar 7 Oct 2016 · 1 min read चाहे जितने हो खूबसूरत रोशन हो गैर जिससे वो शमा जलाता कौन है अगर हो गम बेपनाह फिर मुस्कराता कौन है ********************************** बेगैरत और बेअदब ,जो जीते हों अपने लिये चाहे जितने हो खूबसूरत... Hindi · मुक्तक 533 Share Kapil Kumar 6 Oct 2016 · 1 min read नजरे भी मिली यूं नजर से नज़रे भी यूं मिल आई हैं नज़र से ख़बरे भी जैसे मिली हो बेखबर से ************************** बाद मुद्दत मिला सुकूं इस तरह से बिछड़ा जैसे मिला हो हमसफ़र से ***************************... Hindi · मुक्तक 518 Share Kapil Kumar 5 Oct 2016 · 1 min read अजीब सा दौर है अजीब सा दौर है हरेक राह टेढ़ी चुनता है हर कोई नया जाल, नया किस्सा बुनता है ****************************** किस्सों में सिमटती जा रही है अब जिंदगी न सुनता हूँ गौर... Hindi · मुक्तक 349 Share Kapil Kumar 5 Oct 2016 · 1 min read तकिया भिगोने से क्या फायदा अब ग़मो को ढोने से भी क्या फायदा अब तकिया भिगोने से भी क्या फायदा ***************************** जब तो दिल दुखाता रहा हर किसी का अब तन्हाई में रोने से भी... Hindi · मुक्तक 354 Share Kapil Kumar 2 Oct 2016 · 1 min read घर को अपने ही चिरागों से भी जलते देखा हद से अपनी कभी रिश्तों को गुजरते देखा दौरे हाजिर में पुरानो को भी बदलते देखा ********************************* रौशनी को हम उम्मीदों मे जलाते हैं मगर घर को अपने ही चिरागों... Hindi · मुक्तक 599 Share Kapil Kumar 1 Oct 2016 · 1 min read सलमान खान के लिये सन्देश सलमान के लिए सन्देश........... छोड़ कर तकरार कियूं न बातें हो अब प्यार की पहले करे हम फर्ज पूरे, बातें फिर अधिकार की ************************************* बोल बन्दे मातरम् बाते न कर... Hindi · मुक्तक 269 Share Kapil Kumar 1 Oct 2016 · 1 min read अपनों ने ही हमको संभलने नही दिया अपनों ने ही हमको संभलने नही दिया कदम ब कदम हमको चलने नही दिया ***************************** ढूंढते ही रहे वो अश्क़ आँखों मे मेरी कतरा भी हमने एक टपकने नही दिया... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 300 Share Kapil Kumar 30 Sep 2016 · 1 min read सलमान खान सलमान खान ..............पाकिस्तानी कलाकार आतंकवादी नही आप कोंन हैं जनाब.......उनकी सफाई देने के लिये...... आप भी कौन से दूध के धुले धुलाये हैं अभी भी आप के ऊपर कानून के... Hindi · मुक्तक 427 Share Kapil Kumar 2 Sep 2016 · 1 min read था इक ही दिल वो भी पराया कर् दिया था इक दिल ही तो अपना वो भी पराया कर दिया था मिला किस्मत से हमको वो भी जाया कर दिया ************************************** क्या हुआ जो हो गये ज़मीदोज़ हम इश्क़... Hindi · मुक्तक 500 Share Kapil Kumar 1 Sep 2016 · 1 min read लौटा लायेंगी तुम्हे समझा देंगे यादों को न रुलायेंगी तुम्हे करना न गिला फिर न बुलायेंगी तुम्हे **************************** मेरा तुम्हारा अब ख़ुदा निगेहबाँ हमदम देखना इक रोज यही लौटा लायेंगी तुम्हे **************************** कपिल... Hindi · मुक्तक 575 Share Kapil Kumar 31 Aug 2016 · 1 min read आप में हे क्या आप खुद् बेखबर हैं आपकी सादगी ही आपका हुनर है आपके ख्याल ही आपकी नज़र है ************************** यूं न इतराईये कामयाबी पे जनाब चार दिन की चाँदनी न कोई सहर है ************************** चढ़के सर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 2 386 Share Kapil Kumar 30 Aug 2016 · 1 min read वो क्या करेगा कोई गिला मुझसे क्या करेगा वो कोई गिला मुझसे जो बेमतलब , रहा ख़फ़ा मुझसे ************************ उलझा है जो खुद कशमकश मे क्या करेगा कोई फैसला मुझसे ************************ कपिल कुमार 30/08/2016 गिला.......शिकायत Hindi · मुक्तक 613 Share Kapil Kumar 28 Aug 2016 · 1 min read शर्त है इश्क हो ऐसा की कुछ खास होना चाहिये शर्त है दिल से कुछ एहसास होना चाहिये ******************************** जिंदगी बन सकती आपकी भी ख़ुशनुमा शर्त है हर रोज़ बस मधुमास होना... Hindi · मुक्तक 310 Share Kapil Kumar 25 Aug 2016 · 1 min read चाहते हो खुश रहना तो चाहते हो खुश रहना तो इक वादा कीजिये वादा आज से शुरू ख़ुद से निभाना कीजिये ********************************* कपिल कुमार 24/08/2016 Hindi · शेर 298 Share Kapil Kumar 25 Aug 2016 · 1 min read अगले जन्म की जमानत रखे तू यादों में जिंदा ये इबादत है मेरी यही यादें तेरे पास इक अमानत है मेरी ***************************** ज़िंदा अल्फाजों में रहूँ या मै दिल में यही अगले जन्म की... Hindi · मुक्तक 1 512 Share Kapil Kumar 24 Aug 2016 · 1 min read इज्जत की गऱ हो आरजू बुलन्दी की गऱ हो आरजू तो मेहनत करना सीखिये बन्दगी की ग़र हो आरजू तो इबादत करना सीखिये *************************************** नही गऱ जुबां काबू में तो बहुत् मुश्किल है जनाब इज्जत... Hindi · मुक्तक 287 Share Kapil Kumar 23 Aug 2016 · 1 min read ये है मुहब्बत का बैंक आने वाली बुक ,इश्क़ मुकम्मल, से एक शेर आपकी नजर है ये मुहब्बत का बैंक प्यारे यहाँ कोई उधार खाता नही चलता होती है हमेशा जज़्बों की बारिश फिर कोई... Hindi · शेर 1 318 Share Kapil Kumar 19 Aug 2016 · 1 min read ग़ुनाह रोज तोबा करके फिर गुनाह करता है शायद अब गुनाह वो बेपनाह करता है ***************************** कपिल कुमार 19/08/2016 Hindi · शेर 623 Share Kapil Kumar 18 Aug 2016 · 1 min read जो अहले खिरद न कर् पाये आने वाली मेरी पुस्तक....इश्क़ मुकम्मल से.....आपकी नजर अहले- खिरद न कर् सके वो करके दिखा गया एक बेअदब ही आज अदब सबको सीखा गया *********************************** कपिल कुमार 17/06/2016 अहले खिरद......समझदार... Hindi · मुक्तक 657 Share Kapil Kumar 18 Aug 2016 · 1 min read आबो दाना ख़ुदा ने लिख दिया जब तेरा आबो दाना तेरे हक़ का तुझको मिलेगा दाना दाना ***************************** कपिल कुमार 18/08/2016 Hindi · शेर 556 Share Kapil Kumar 18 Aug 2016 · 1 min read राखी परदेश में मन ये मेरा रिश्ते निभाने को करता है दिल अब घर लौट आने को करता है *************************** जब जब आती राखी बहना परदेश में मन ये मेरा तब तब रोने... Hindi · मुक्तक 430 Share Kapil Kumar 13 Aug 2016 · 1 min read कुछ तो करो इशारा करो इजहार वरना हम हो दर ब दर जाऐगें नजरों से ही कहो वरना पल ये गुजर जाऐगें ********************************** आखिरी वक्त है,कुछ तो करो अब इशारा कुछ पल के लिए... Hindi · मुक्तक 376 Share Kapil Kumar 12 Aug 2016 · 1 min read मेरे गीत और ग़ज़ले उनके ही नजराने हैं मेरी आने वाली पुस्तक,इश्क मुकम्मल,से आपकी नजर मेरे गीत और ग़ज़ले उनके ही खजाने हैं हम तो ख़ाक हैं इक दिन दफ़न हो जाने हैं ******************************* दोस्तों के दिल में... Hindi · मुक्तक 1 507 Share Kapil Kumar 11 Aug 2016 · 1 min read नही जल्दी कोई आहिस्ता चाहिये नही जल्दी कोई आहिस्ता चहिये इश्क़ ए खुदा का बस पता चाहिये *********************** जो न टूटे कभी वो वास्ता चाहिये हो खासो आम वो रास्ता चाहिये ************************ उठा सके नाज... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 726 Share Kapil Kumar 11 Aug 2016 · 1 min read जुबां इश्क़ की दास्ताँ क्या पूछते हो बेजुबां इश्क़ की होके फना ही आती है जुबां इश्क़ की ************************** कपिल कुमार 11/08/2016 Hindi · शेर 305 Share Kapil Kumar 10 Aug 2016 · 1 min read गम ये नही कि वो हमसे किनारा कर गया एक पुराना और पसंदीदा मेरा शेर...............आपकी नजर ये गम नही कि वो हमसे किनारा कर गया गम ये है कि वो ये हरकत दोबारा कर गया ******************************** कपिल कुमार 10/08/2016 Hindi · शेर 1 588 Share Kapil Kumar 9 Aug 2016 · 1 min read इक दफा आजमाइये शहीदों के लिये इक दीपक जलाइये पर्यावरण के लिये इक पौधा लगाइये *************************** हो जायेगी आपकी आत्मा भी प्रसन्न बस इक दफा तो ये नुस्ख़ा आजमाइये **************************** कपिल कुमार 09/08/2016 Hindi · मुक्तक 280 Share Kapil Kumar 9 Aug 2016 · 1 min read नई पहल शहीदों के लिये इक दीपक जलाइये पर्यावरण के लिये इक पौधा लगाइये *************************** हो जायेगी आपकी आत्मा भी प्रसन्न बस इक दफा तो ये नुख्सा आजमाइये **************************** कपिल कुमार 09/08/2016 Hindi · मुक्तक 304 Share Kapil Kumar 9 Aug 2016 · 1 min read कातिल हमारा मुकर गया कभी किस्मत कभी फिर सहारा मुकर गया कश्ती जो लगी पार फिर किनारा मुकर गया ********************************* लगा के धार भी दी हमने खुद खंजर पे मगर वक्त जो आया कातिल... Hindi · मुक्तक 1 258 Share Kapil Kumar 8 Aug 2016 · 1 min read कहाँ चाँद में वो बात कहाँ चांद मे वो बात जो तुम्हें निहार सके नही बना वो दिल ही जो तुम्हें पुकार सके ****************************** सितारे भी है सहमे सहमे से हैं सजदे में भेजा है... Hindi · मुक्तक 595 Share Kapil Kumar 7 Aug 2016 · 1 min read मित्र दिवस की बधाई इक पल भी तुम बिन न गुजारा है दोस्तों हाल जो है तुम्हारा वही हमारा है दोस्तों ******************************* कपिल कुमार 07/08/2016 मित्र दिवस की सभी मित्रों को बधाई, Happy friendship... Hindi · शेर 429 Share Kapil Kumar 6 Aug 2016 · 1 min read जहाँ वजूद नही तेरा खुशबु तेरी के लिये ही तो तरसता हूँ मै जहाँ वजूद नही तेरा कहाँ बरसता हूँ मै ***************************** होती हो तस्व्वुर में तन्हाई में भी हँसता हूँ तू नही तो... Hindi · मुक्तक 610 Share Kapil Kumar 5 Aug 2016 · 1 min read हर दफा वो ऊँगली हम पर ही उठाता कियुं है बिठा के पलकों पर नजरों से गिराता क्यूं है दाव ये सारे वो हम पर ही आजमाता क्यूं है ******************************** क्या हुआ जो एक बार हम खता कर बेठे हर... Hindi · मुक्तक 403 Share Kapil Kumar 4 Aug 2016 · 1 min read जिस रोज बनी दुर्गा मेरे मुल्क की माँ बहने जिस रोज मेरे मुल्क का बाशिंदा जाग जायेगा उस रोज मेरे मुल्क का ,आइन्दा जाग जायेगा ********************************** बनी जिस दिन भी दुर्गा मेरे मुल्क की माँ बहने उस रोज मेरे... Hindi · मुक्तक 277 Share Kapil Kumar 4 Aug 2016 · 1 min read न पाल जमाने के गम न पाल जमाने के गम उससे कया होगा आज नहीं कल तू खुद से ही खफा होगा ****************************** देगा गऱ मकसद जिदगी को आज कोई कल जमाना ही तेरे कदमों... Hindi · मुक्तक 253 Share Kapil Kumar 2 Aug 2016 · 1 min read कहाँ अब वो मौसम पुराना रहा है कहाँ अब वो मौसम पुराना रहा है नही तेरा मेरा अब जमाना रहा है ************************* लग गये पैबन्द से रिश्तों में अब तो रहा कुछ न बाकी, निभाना रहा है... Hindi · मुक्तक 365 Share Kapil Kumar 2 Aug 2016 · 1 min read गर दे एक ही वजह तू मुस्कराने की गर दे इक ही वजह तू मुस्कराने की वार दूँ मै तुझपे हर ख़ुशी जमाने की ************************** लिख दूं मै हर इक साँस पे नाम तेरा गर रख ले दिल... Hindi · मुक्तक 605 Share Kapil Kumar 31 Jul 2016 · 1 min read फूलों से जरा बचकर रहना मिल जाते हैं रहम परायों के, अपनों से जरा बचकर रहना भर जाते हैं जख्म पत्थरों के फूलों से जरा बचकर रहना ********************* कपिल कुमार 31/07/2016 Hindi · मुक्तक 1 539 Share Kapil Kumar 30 Jul 2016 · 1 min read मौत का नाम तो मुफ़्त ही बदनाम है इस गमें जिंदगी मे और भी तो काम है जिंदगी के साथ -2 मौत भी बेलगाम है ***************************** छोड़ जाती है अक्सर जिंदगी ही हमे मौत का नाम तो मुफ़्त... Hindi · मुक्तक 569 Share Kapil Kumar 30 Jul 2016 · 1 min read कदर न हुई जब तक रहे बन्दिशों मे कदर न हुई हुई कदर भी यूँ की कोई खबर न हुई **************************** मिलती रही हैं यूं दुश्वारियां हमसे कि मिली ख़ुशी तो ख़ुशी पल... Hindi · मुक्तक 540 Share Kapil Kumar 28 Jul 2016 · 1 min read खिलखिलाने पे न जा अश्क़ करें बेशक चश्म नम नहीं भिगोते रूह को मेरी वो कम नहीं ************************ खिलखिलाने पे न जाना तू मेरे खोखली है ये हंसी कोई दम नहीं ************************ कपिल कुमार... Hindi · मुक्तक 393 Share Kapil Kumar 28 Jul 2016 · 1 min read चन्द अल्फाज चन्द अल्फाजो को संवार लेता हूँ याद तेरी यूं दिल में उतार लेता हूँ ************************ यादें तेरी बहुत है जीने के लिये शब् ओ सहर यूं ही गुजार लेता हूँ... Hindi · मुक्तक 351 Share Kapil Kumar 27 Jul 2016 · 1 min read गुरु घन्टाल प्रत्यक्ष को पुराने की जरूरत क्या है सच को भी छुपाने की जरूरत क्या है *************************** घर में जब छिपे बेठे हों दुश्मन अपने दुश्मनो को बुलाने की जरूरत क्या... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 484 Share Kapil Kumar 26 Jul 2016 · 1 min read वतन की खातिर कारगिल विजय दिवस पर......आपकी नज़र. शहीदों की अनमोल धरोहर संभालो वतन की खातिर ही वतन को बचालो *************************** उठो जाति मजहब सियासत से ऊपर चूम लो धरा दिल मे वतन... Hindi · मुक्तक 1 1 805 Share Kapil Kumar 26 Jul 2016 · 1 min read अंदाजे इश्क़ बेफ़वाई की भी न थी वो शर्म सारी छोड़ बैठे कस्मे तोड़ी भी न थी ,वो हदें सारी तोड़ बेठे ********************************* रफ्ता-2 ही समझेंगे वो हमारा अंदाजे इश्क़ क्या हुआ... Hindi · मुक्तक 504 Share Kapil Kumar 25 Jul 2016 · 1 min read सियासी दांव पेंच फैला के नफ़रतें प्यार के पैगाम न आएंगे लगा के आग दिलों मे भी आराम न आएंगे ********************************* सेकते हो तुम अक्सर यूं ही सियासी रोटियाँ हर दफ़ा ये दाव... Hindi · मुक्तक 1 586 Share Kapil Kumar 24 Jul 2016 · 1 min read एक दोस्त पुराना वो जो एक दोस्त पुराना आ गया याद फिर गुजरा जमाना आ गया ************************* क्यूं न कैद कर लूं इन लम्हों को वो जो आये मुस्कराना आ गया ************************ कपिल... Hindi · मुक्तक 1 636 Share Kapil Kumar 23 Jul 2016 · 1 min read यूं ही एक नजर......आज यूँ ही पर.................आपकी नजर न दे तू इल्जाम हवाओं को यूँ ही रोक कुछ देर फिजाओं को यूँ ही ************************** मैने ये कब कहा कि लौटूंगा नही रोक... Hindi · मुक्तक 4 271 Share Previous Page 3 Next