Rajdeep Singh Inda Tag: कविता 9 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Rajdeep Singh Inda 8 Sep 2023 · 1 min read दोय चिड़कली बापू सूत्या हा दरवाजै मांय उणां रै मांचै रै पागां पर आसै-पासै बैठ'र दोय चिड़कली चींचाट करै ही बापू री नींद बीडरगी ही बापू गमछै रो फटकारो दियो चिड़कलियां उडगी... Rajasthani · आधुनिक कविता · कविता · चिड़िया · राजदीप सिंह इन्दा की कविता · राजदीप सिंह इन्दा री रचनावां 1 1 197 Share Rajdeep Singh Inda 6 Mar 2023 · 1 min read गाँव की याद सीमेंट कंक्रीट के घने जंगल के बीच आदमीयत से परे इंसानी नज़रों से दूर छुपकर खड़ी है एक छोटी सी खेजड़ी जिस पर फूल रही है इस मौसम की मिमझर... Hindi · कविता · गांव · गांव की याद · सांगरी · सांगरी की सब्जी 1 222 Share Rajdeep Singh Inda 12 Jun 2020 · 1 min read हे विश्व ! हे विश्व.....! ______________________ हे विश्व ! तुम प्रेम में बनायी गई सुन्दर कृति हो प्रेम और मुहब्बत से ही तुम आबाद हो फिर क्यूं भूल गये तुम प्रेम करना क्यूँ... Hindi · कविता 1 1 305 Share Rajdeep Singh Inda 15 Aug 2018 · 1 min read थार का सैनिक मैं देखा करता हूँ अक्सर, थार के सैनिक को धूल भरी आँधी में आग उगलती दुपहरी में कैसे करता है वो अपनी मातृभूमि की रखवाली। उसकी आँखों में दिखते हैं... Hindi · अंतरराष्ट्रीय सीमा · कविता · थार में गर्मी · राजस्थान · सैनिक 1 1 287 Share Rajdeep Singh Inda 5 Aug 2018 · 1 min read फूल देखा है मैने फूलों को, हंसते खिलते मुस्कुराते देखा है मैने फूलों को, कलियों के संग इठलाते। देखा है मैने फूलों को, खुशीयों मेँ हार बनते देखा है मैने फूलोँ... Hindi · कविता 1 1 408 Share Rajdeep Singh Inda 17 Jul 2018 · 2 min read प्यार डर नहीं शक्ति है मत भूलो याद करो वो दिन मेरे सीने पर सर रखकर तुमने कितनी कसमे खाई थी साथ रहने की उस पहले चुम्बन के साथ......। तुम बताते थे कई बार..... सपने... Hindi · कविता 1 1 327 Share Rajdeep Singh Inda 14 Nov 2017 · 1 min read कन्या का आगमन खिली हो तुम फूल बनकर उस बगिया मेँ जहाँ... बरसोँ से तितलीयों का आना-जाना नहीँ, महकी हो तुम खुशबू सी उस गुलिस्तां में जहाँ... अरसे से उन काले भँवरों की... Hindi · कविता 1 1 606 Share Rajdeep Singh Inda 23 Jan 2017 · 1 min read शब्द उधार तो दे दो "शब्द उधार तो दे दो" ---------------------------- मन करता है कुछ लिखुं..!!! क्या लिखुं..........? कोई शब्द विद मुझे, शब्द उधार तो दे दो । खुशी लिखुं या गम लिखुं, ज्यादा लिखुं... Hindi · कविता 1 1 564 Share Rajdeep Singh Inda 23 Jan 2017 · 1 min read कविता क्या होती है...? कविता क्या होती है.....? इसे नहीं पता,उसे नहीं पता मुझे नहीं पता...........! कहते हैं कविगण- कविता होती है मर्मशील विचारों का शब्द पुँज, कविता होती है साहित्य की पायल, कविता... Hindi · आधुनिक कविता · कविता · कविता क्या होती है · छन्द मुक्त कविता · राजदीप सिंह इन्दा की कविता 2 1 770 Share