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#मेरे रास्तों पे कभी चलते नही बनता तुझ से
KAPIL JAIN
अलग अलग गजलो के कुछ शेर
KAPIL JAIN
#मुझको भी एक बात आज बतानी है तुमको
KAPIL JAIN
अलग अलग गजलो के कुछ शेर बहुत समय के बाद
KAPIL JAIN
खुद की तलाश.....
KAPIL JAIN
मुद्दतें लगी खुद को चलना सिखाने में,
KAPIL JAIN
कोई ख़ुशी मेरी देहलीज तक नही आती
KAPIL JAIN
ऐ मंज़िल अब तो आ...
KAPIL JAIN
जब जज़्बात दिलों मे दम तोड़ते हैं.....
KAPIL JAIN
ऐ वक़्त फिर लौट आओ तुम...
KAPIL JAIN
एक बार बता तो आखिर बात क्या है ?
KAPIL JAIN
खामोश क्यूँ है तू,कुछ तो जवाब दे...
KAPIL JAIN
रोम रोम में बेचैनी और आँखों में आँसू लायी.
KAPIL JAIN
याद आकर रोज रातों को मुझे जगाया मत कर,
KAPIL JAIN
लिखदूं कुछ अलफ़ाज़ में यूँ जो पढे तू मेरी हो जाए ।
KAPIL JAIN
में उसे अपना बनाने में लगा रेहता हूँ..
KAPIL JAIN
जरुरी नही हर बात कहें,कुछ दर्द छुपे ही रहने दो...
KAPIL JAIN
कौन यहाँ दूध का धुला है बता दो ।
KAPIL JAIN
अकेले बैठतें हैं अब,जब भी कभी,
KAPIL JAIN