डॉ सुलक्षणा अहलावत 129 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Aug 2016 · 1 min read बेटी (शायरी) देवालय में बजते शंख की ध्वनि है बेटी, देवताओं के हवन यज्ञ की अग्नि है बेटी। खुशनसीब हैं वो जिनके आँगन में है बेटी, जग की तमाम खुशियों की जननी... Hindi · शेर 5 13 49k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Jan 2017 · 1 min read बेटी जिस घर के आँगन में बेटी है वहाँ तुलसी की जरूरत नहीं, देखो बेटी की सूरत से जुदा यहाँ किसी देवी की सूरत नहीं। खुशियाँ पता पूछती हैं उस घर... "बेटियाँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता · बेटियाँ- प्रतियोगिता 2017 5 2 4k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 3 Nov 2018 · 1 min read माँ "माँ" वो एक लफ्ज़ जिसमें तीनों लोक समाए हैं, ब्रह्मा विष्णु महेश भी जिसने गोद में खिलाए हैं। नतमस्तक रहना सदा अपनी जननी के आगे तुम, तुम्हें पाने को ना... "माँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 38 148 4k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 15 Feb 2017 · 1 min read याद मेरे गाँव की मुझे सोने नहीं देती, खुश होने नहीं देती, याद मेरे गाँव की, याद मेरे गाँव की। जिस आँगन में बचपन बीता वो सूना पड़ा है, खंडहर हो गया पर घर... Hindi · कविता 8 5 2k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 25 Oct 2016 · 1 min read तीन तलाक खुश हो लिए तुम तीन बार तलाक कह कर, पता है मन भर गया है तुम्हारा साथ रह कर। एक पल को भी नहीं सोचा कहाँ जाऊँगी मैं, क्या तुम्हारा... Hindi · कविता 3 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 4 Jan 2021 · 1 min read कोरोना को हराने की ठान लो अब इस कोरोना को हराने की ठान लो, खुद को घर में ही बहलाने की ठान लो। लाशों के ढ़ेर लग जाएंगे लापरवाही से, दूरियां एक दूजे से बढ़ाने की... "कोरोना" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 42 115 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 9 Aug 2016 · 1 min read वेश्या एक कड़वा सच ये कहने में नहीं आती लाज है कि वेश्या हूँ मैं, सच में अपने ऊपर मुझे नाज है कि वेश्या हूँ मैं। इन दुनिया वालों की अब करती परवाह नहीं... Hindi · कविता 6 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 20 Jun 2017 · 2 min read दर्द पिता की मौत का उन क्षणों का दर्द कोई नहीं समझ सकता इस संसार में जब तक वो क्षण जिंदगी में ना आएं घर में छोटा था मैं पर अचानक से बड़ा बन गया... Hindi · कविता 6 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 11 Aug 2016 · 1 min read दर्द शहीद के परिवार का छाती उस माँ की भी फ़टी होगी, दुनिया उस बाप की भी लूटी होगी, जिसका बेटा शहीद हो गया यहाँ। चरणों को जब उसने छुआ होगा, दर्द उस पत्नी को... Hindi · कविता 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 15 Oct 2016 · 1 min read नेता जी बस इस चुनाव में मुझे भी टिकट दे दो नेता जी बस इस चुनाव में मुझे भी टिकट दे दो, नेता बनने के सारे गुण हैं, चाहे इम्तिहान ले लो। नेता जी झूठ बोलने में बड़ी महारत हासिल है,... Hindi · कविता 898 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 22 Oct 2016 · 1 min read अहोई अष्टमी छोड़ देती है माँ को संतान आज देखो दर दर भटकने के लिए, फिर भी माँ रखती है व्रत उसी संतान का भाग्य पलटने के लिए। कार्तिक मास की अष्टमी... Hindi · कविता 3 1k Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 1 Feb 2021 · 1 min read मोहब्बत करने में वक़्त लगा ऐ ज़माने! मुझे मोहब्बत करने में वक़्त लगा। दिलबर अपने को खत लिखने में वक़्त लगा। इस कद्र डूबी रही मैं उसकी मोहब्बत में, मुझे खुदा की इबादत करने में... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 12 52 878 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 24 Aug 2016 · 1 min read जेनयू बलात्कार कांड पर कविता जेनयू में बलात्कार हुआ, हां सही सुना जी बलात्कार हुआ, पर क्या बलात्कार पर कहीं शोर शराबा या हाहाकार हुआ। दया शंकर के ब्यान पर दहाड़ने वाले शेर छिप गए... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 811 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 28 Nov 2016 · 1 min read दास्ताँ ऐ दर्द मिलना कभी तुम फुर्सत में हाल ऐ दिल बताएंगे, जख्म अपने दिल के उस रोज तुम्हें हम दिखाएंगे। सीने में अपने दर्द का ज्वालामुखी दबा कर बैठे हैं, कराह उठोगे... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 865 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 21 Dec 2016 · 1 min read बेटी पढ़ लेती है वो मेरे दिल के भावों को समझ लेती है मेरी उधेड़बुन को निर्मल गंगा सी पवित्र है वो मन की दर्द को जान लेती है एक पल... Hindi · कविता 2 735 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 14 Oct 2018 · 1 min read कोई उम्मीद नहीं रही देख तेरे तेवर अब कोई उम्मीद नहीं रही, सच कहूं आज से मैं तेरी मुरीद नहीं रही। पहले लड़ लेती थी मैं जमाने से तेरे लिए, लेकिन अब वो पहले... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 711 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 10 Dec 2016 · 1 min read दिल से नहीं निकलता जो वो ख्याल हो तुम दिल से नहीं निकलता जो वो ख्याल हो तुम, उस खुदा की रचनाओं में बेमिसाल हो तुम। तुम्हें पाने की ख्वाहिश दिल में लिए हुए हैं, समझ ना सके वो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 720 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 24 Dec 2016 · 1 min read सदा सच की तरफदारी करूँगी सदा सच की तरफदारी करूंगी, कुछ हो जाये उम्र सारी करूंगी। परवाह नहीं मुझे इस ज़माने की, दुश्मनों का जीना भारी करूंगी।। कलम शमशीर से मैं वार करुँगी, शब्द बाणों... Hindi · कविता 5 2 742 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Sep 2016 · 2 min read दर्द बेटी का हाये प्रभु क्यों मुझे लड़की बना आपने भेजा इस पापी संसार में। जहाँ लोग गूंगे बहरे बने रहते हैं इज्जत लूट ली जाती भरे बाजार में। जन्म से लेकर बुढ़ापे... Hindi · कविता 735 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 28 Nov 2016 · 1 min read दास्ताँ ऐ मोहब्बत दिल के दरवाजे पर नजरों से दस्तक दी थी कभी, दबे पैर आकर मेरी जिंदगी में आहट की थी कभी। कोरा कागज था जीवन मेरा तुमसे मिलने से पहले, कोरे... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 1 692 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 10 Aug 2016 · 1 min read दो आफ़ताब (शायरी) आज दो गुलाब एक साथ देखे, इतने हसीं ख्वाब एक साथ देखे। दिल की धड़कन ही रुक गयी थी, जब दो आफ़ताब एक साथ देखे।। ©® डॉ सुलक्षणा अहलावत Hindi · शेर 677 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 28 Aug 2016 · 1 min read नजरें माँ मैं आज के बाद घर से बाहर नहीं जाऊँगी, कारण मत पूछना मुझसे मैं बता नहीं पाऊँगी। फिर भी तुम सुनना ही चाहती हो तो सुनो माँ, आज अपना... Hindi · कविता 1 2 686 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 7 Aug 2016 · 1 min read दहेज की आग ज्वालामुखी सी सुलगती रहती है ये दहेज की आग, हमने कानून बना दिए हैं सरकार अलापे यही राग। पर दहेज की आग का दर्द एक पिता ही जानता है, बेटी... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 720 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 11 Aug 2016 · 2 min read दर्द किसान का (हरियाणवी) कोय ना समझदा दुःख एक किसान का। होरया स जोखम उसनै आपणी जान का।। जेठ साढ़ के घाम म्ह जलै वो ठरै पौ के जाड्डे म्ह। कोय बी ना काम... Hindi · गीत 666 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 14 Oct 2016 · 1 min read मैं कवयित्री नहीं हूँ ....................मैं कवयित्री नहीं हूँ..................... मैं कोई कवयित्री नहीं हूँ अरे मैं कोई कवयित्री नहीं हूँ कवयित्री की कलम तो निस्वार्थ भाव से चलती है सोये हुए इंसानों को जगाकर उनमें... Hindi · कविता 1 694 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 26 Sep 2016 · 1 min read मेरा क्या कसूर मैं आपसे पूछना चाहती हूँ मेरा कसूर क्या है। आपकी दुनिया का ये अजीब दस्तूर क्या है। आप नहीं पसंद करते हो मुझे तो जन्म क्यों देते हो? जिंदगी भर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 641 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 11 Aug 2016 · 1 min read बलात्कार पीड़िता का दर्द उन दरिंदों ने तो सिर्फ एक बार मेरा बलात्कार किया था, पर समाज ने, मीडिया ने, कानून ने तो बार बार किया था। जब से लोगों को पता चला कि... Hindi · कविता 1 4 665 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 11 Nov 2016 · 1 min read धनवानों की सरकार ने धनवानों को लूट लिया धनवानों की सरकार ने धनवानों को लूट लिया, देख हालात ये विपक्ष ने सिर अपना कूट लिया। देखो किसी से दर्द अपना कह भी नहीं सकते हैं, दर्द सीने में... Hindi · कविता 2 628 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 27 Aug 2016 · 1 min read इंसानियत की लाश कँधे पर उसके पत्नी की नहीं इंसानियत की लाश थी, एम्बुलेंस नहीं मिली, चुकाने को नहीं कीमत पास थी। जब से सुनी मैंने ये खबर रोटी मेरे गले से नहीं... Hindi · कविता 1 605 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 30 Aug 2016 · 1 min read भाईचारा क्यूँ बावले होरे सो समझ ल्यो दुश्मना की चाल र। आपस कै म्हा लड़ण की थम कर दयो नै टाल र।। पहल्याँ लड़ायै धर्म के नाम प इब लड़ावैं जात... Hindi · गीत 572 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 26 Oct 2016 · 1 min read तेरी यादों के साये में जिंदगी का चिराग जल रहा है तेरी यादों के साये में जिंदगी का चिराग जल रहा है, वक़्त ठहर गया है बस सूरज निकलकर ढ़ल रहा है। तुम्हारे इक वादे पर जिंदगी की रफ्तार रुकी हुई... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 1 568 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 6 Aug 2016 · 1 min read कर्मचारी और सरकार किसी सरकार बणी या म्हारै हरियाणे म्ह, कर्मचारियाँ नै रोकना चाहवै स थाणे म्ह। तानाशाही रवैया अपणाण लाग री स या, दुश्मन बणाण लाग री सबनै अनजाणे म्ह। निजीकरण म्ह... Hindi · कविता 627 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 14 Oct 2018 · 1 min read छूना चाहता हूँ मैं छूना चाहता हूँ मैं तेरे अनकहे जज्बातों को होंठो में दबी रह गयी बातों को बोलो इसका कोई जतन नहीं क्या? छूना चाहता हूँ मैं तेरे दिल के उस कोने... Hindi · कविता 9 4 604 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 7 Sep 2016 · 1 min read शिक्षा चैन से कैसे सोऊँ मैं, मुझे शिक्षा की अलख जगानी है, मेरे देश में जड़ जमा चुकी हर बुराई दूर मैंने भगानी है। शिक्षा से ही बदलाव संभव है, शिक्षा... Hindi · कविता 2 582 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Dec 2016 · 1 min read पैगाम भेजा मोहब्बत पर लाज का पहरा बिठा आँखों से पैगाम भेजा, हाल ऐ दिल लिख अपना पहला खत तुम्हारे नाम भेजा। सोच कर मदहोशी मोहब्बत की कहीं कम ना हो जाये,... Hindi · कविता 3 629 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 5 Sep 2016 · 1 min read शिक्षक ::::::::::::::::::::::::::::::शिक्षक:::::::::::::::::::::::::::::: वो शिक्षक ही होता है जो हमें बोलना सिखाता है। जो ऊँगली पकड़ कर हमारी हमें चलना सिखाता है। वो शिक्षक ही होता है जो हाथ पकड़ कर लिखना... Hindi · कविता 521 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 22 Sep 2016 · 1 min read हाइकू एक प्रयास हाइकू का 1. दिल की बात कह ना सके हम मिला ना साथ **************************** 2. तड़पे हम मिलन नहीं हुआ निकला दम ***************************** 3. जनाजा मेरा डोली उसकी... Hindi · हाइकु 1 1 538 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Aug 2016 · 1 min read आज का समाज आज समाज का ताना बाना टूटता जा रहा है, छोटी छोटी बातों पर सिर फूटता जा रहा है। देखो आज भाई का दुश्मन भाई बन बैठा है, इंसानियत का दामन... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 505 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 25 Sep 2016 · 1 min read कलम से क्रांति अब कलम से क्रांति लानी है। सोई हुई जनता जगानी है। बहुत सह लिया जुल्म ओ सितम, सिर के ऊपर से जा लिया पानी है। अब हर अत्याचारी के खिलाफ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 537 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 14 Aug 2016 · 1 min read तड़प ऐ दोस्त! गुजरा ज़माना आज फिर से याद आ गया। गुलदस्ता उसकी यादों का तन बदन को महका गया। सब कुछ भूल गया मानो वक़्त कुछ पल को ठहर गया,... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 1 534 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 11 Oct 2016 · 1 min read अंतर्मन में एक शोर मचा हुआ है अंतर्मन में एक शोर मचा हुआ है, स्वार्थ का शिकंजा कसा हुआ है। दास्ताँ अधूरी रह जाती हैं आज, वासना में मन ये जकड़ा हुआ है। देखो रिश्ते नाते सब... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 1 547 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Aug 2016 · 1 min read दर्दे दिल कफ़न सिरहाने रखा है, पर मौत आती नहीं है। लाख कोशिशें कर ली, दिल से वो जाती नहीं है। दर्दे दिल किसे दिखाऊँ, मेरा कोई साथी नहीं है। इसका इलाज... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 514 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 7 Aug 2016 · 1 min read आज की यारी (हरियाणवी) आड़े कौन किसका दोस्त स, सब मतलब के ऐ यार सं, यारी दोस्ती के नाम प लोग करैं आजकाल व्यापार सं। जब ताहीं गरज रहवै आड़े एक थाली म्ह लोग... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 520 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 16 Aug 2016 · 1 min read माँ भारती का दर्द रे चन्द्रशेखर तेरी माँ भारती कुण म्ह पड़ी टसकै स। खुल कै रो बी ना सकदी वा भीतर ऐ भीतर सुबकै स।। हर रोज करै घा माँ की छाती म्ह... Hindi · गीत 573 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 9 Aug 2016 · 1 min read राखी का वचन (हरियाणवी) भाई र इब कै पोंचीयाँ प रपिये धेलै ना बस एक वचन दिए, माँ बाप की सेवा करैगा सारी उम्र उण प वार तन मन दिए। दुखां तै पाले साँ... Hindi · कविता 632 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 13 Sep 2016 · 1 min read नारी ईंट पत्थर गारा तै बणै मकान नै घर बनावै स वा, फेर बखेर कै प्रेम की खुशबु घर नै महकावै स वा। जन्म लेवे किते, बसे किते या हे कर्मा... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 548 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 5 Aug 2016 · 1 min read सावन और हसीना कुछ ऐसे लगता है ये सावन का महीना, जैसे श्रृंगार किये हो कोई सुंदर हसीना। हसीना की जुल्फों के जैसी काली घटाएं, नीले नीले आसमान में हर रोज ही छाएं।... Hindi · कविता 508 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 23 Sep 2016 · 1 min read उलझनें दिल की मेरे दिल की उलझनें कम नहीं हो रही हैं। ये मेरी आँखें नहीं ये मेरी वफ़ाएँ रो रही हैं। सोचा था हर निशानी उस बेवफा की जला दूंगी मैं। चाहे... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 519 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 6 Oct 2016 · 1 min read दिल चीर के दिल चीर कै धर दिया फेर बी ऐतबार कोण्या, मन्नै पहल्यां शक था साचा तेरा प्यार कोण्या। भूल ग्या मेरे आगै पाछै चक्कर काट्या करदा, एक ब मेरी बात सुन... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 481 Share डॉ सुलक्षणा अहलावत 17 Nov 2016 · 1 min read दर्द ऐ गरीबी कभी देखती हूँ खाली कढ़ाही को, कभी बच्चों के खाली पेट को, साहब कभी मन को अपने मार कर देखती हूँ खाली पड़ी प्लेट को। सभी को पता हैं हालात... Hindi · कविता 2 1 548 Share Page 1 Next