Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
23 Oct 2025 · 1 min read

उपला भाई

उपला भाई उपला भाई
गोबर है तेरी माता माई

गौमाता पितर पूर्वज हैं
प्रकृति का राजा रानी

बिन तेरे अधूरी कहानी
गोद तुम्हारे पलते पादप

रंगबिरंगी फूलों की वादी
षोषक तत्त्व से तू है भरा

खाद खजाना कैसे लाया
विविध रसायन के भंडारी

पौधों को करता हरियाली
छप्पन भोग तेरे से बनता

प्राणी की भूख मिटाते हो
प्राणदात्रीअन्नकूट प्रसादी

गोवर्धन की तू पूजाधारी
प्रकृति में सौंदर्य महारानी

उपला भाई उपला भाई
अद् भूत तेरी किस्मत है

गोर्बधन पर्वत तेरी काया
जगकर्ता कृष्णा की माया

घर घर उपला ढेर लगाता
रंग बिरंगे तू दीया बनाता

रुई सरसों तेल साथ लिए
दिवाली भाईदूज मनाता

जगकर्ता पालनकर्ता श्री
नारायण से पूजे जाते हो

लक्ष्मी रूपा चूल्हा चक्की
अग्निदेव सहस्त्र रूप हो

जय जय हो उपला भाई
तू हो जग में शक्तिशाली ।

***********

Loading...