होली

होली
रंग बिरंगी होली आई
फागुन मास में भैया जी
प्रेम मधुरता साथ में लाई
अपने संग में भैया जी
रंग बिरंगी….
भेद मतों के जो हैं कलुषित
आज करेंगे स्वाहा हम
बैर भुलाकर पिछला सारा
प्रेम से गले मिलेंगे हम
प्यार -ओ-अबीर उडा़ती आई
राधा संग कृष्ण कन्हैया जी
रंग बिरंगी…..
रंगों की फुहार के संग संग
प्रेम -सुधा बरसाता है
जिसे देखकर अपना खेत भी
मन ही मन लहराता है
बासंती चोला ओड़के आयी
करती ता था थैय्या जी
रंग बिरंगी…..