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13 Jun 2023 · 1 min read

तितली रानी (बाल कविता)

तितली रानी तितली रानी।
बाग-बगीचों की महरानी।।
फूलों पर तुम रहने वाली।
चाल तुम्हारी है मतवाली।।

दिखती हो तुम रंग बिरंगी।
ज्यों पहने चुनरी सतरंगी।।
कोमल-कोमल पंख तुम्हारे।
नयन-नक्श है कितने प्यारे।।

कली-कली पर तुम मँडराती।
बैठ फूल पर तुम इतराती।।
कलियाँ देख तुम्हें हरसातीं।
बन कर सुंदर पुष्प लुभातीं।।

हमें देख क्यों उड़ जाती हो।
क्यों तुम पास नहीं आती हो।।
दौड़ दौड़ कर हम थक जाते।
फिर भी तुझको पकड़ न पाते।।

पास हमारे भी तो आओ।
हमको भी उड़ना सिखलाओ।।
खुश रहने का राज बताओ।
जग की अच्छी बात सिखाओ।।

काश तुम्हारे सँग उड़ पाते।
सैर-सपाटा खूब लगाते।।
परियों से मिलते इतराते।
हम भी दूर देश हो आते।।

नाथ सोनांचली

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