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24 Mar 2022 · 1 min read

आईना

दिल के आईने को बार बार साफ करती हूँ
खुद को देखकर खुदा को याद करती हूँ,
खुदी मिट जाये,तेरा ही वजूद उतर आये,
कोई जो मुझमें झाँके,तेरी ही झलक पाये।
….….………………….पूनम कुमारी

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