Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
9 Apr 2021 · 1 min read

दलदल बनी राजनीति

राजनीति दल दल बनी, नेता भये त्रिशूल|
पानी सूखा आँखों का, उड़ती बेशर्म धूल||
सत्ता की चाहत बढ़ी, विभक्त करें नाकूल|
धर्म-जाति-वर्ग भेद में, प्रमत्तक्रम अनुकूल||

Loading...