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25 Nov 2019 · 1 min read

अखबार....

जुर्म वही हैं बस किरदार बदल जाता हैं!
खबर एक ही हैं अखबार बदल जाता हैं!

सरेआम सत्ता होती हैं नीलाम आज भी!
कीमत वही बस ठेकेदार बदल जाता हैं!
?-AnoopS©

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