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21 Jan 2019 · 1 min read

नहीं मिलता

हमसफ़र

मिलने की तरह मुझ से वो, पल गज़र नहीं मिलता
साथी तो बहुत नीलम,मगर हमसफ़र नहीं मिलता।

हैं मील के पत्थर भी बहुत,ज़रा देखकर चलना
सराय हैं हर इक मोड़ पर,मगर घर नहीं मिलता।

आशिक तो बहुत मिल जाएं,अगर हां तू कहदे
दिलफेंक तो बहुत हैं मगर दिलबर नहीं मिलता।

कहते हैं कि बनते हैं युगल, अल्ल्लाह के दर पर
नीलम तो मिली उनसे, जिनसे मुकद्दर नहीं मिलता।
नीलम शर्मा ✍️

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