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27 Nov 2021 · 1 min read

मोडे संत फकीर

बण मह जावै बन जावै,
मोडे संत फकीर,
घर मह चाले कोणी,
होग्या कतई अधीर,

बण मह जावै बन जावै
मोडे संत फकीर,

मांगी छाछ लागे प्यारी,
घर का भावै कोन्यी अचार
आटा दाल चावल गहने मांगे
खुद का भरता नहीं भरतार.

बण मह जावै बन जावै
मोडे संत फकीर.

काम छुडावे खुद संढे पावै
मालम कोन्यी कुण ईश्वर,
उसकी आगै बेल बढावै,
खुद अधर मह,औरां न भटकावै.

बण मह जावै बन जावै
मोडे संत फकीर.

Language: Hindi
Tag: गीत
2 Likes · 2 Comments · 423 Views
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