डॉ.सीमा अग्रवाल Poetry Writing Challenge-2 25 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid डॉ.सीमा अग्रवाल 6 Feb 2024 · 1 min read कुछ कहमुकरियाँ.... १- जपूँ अहर्निश उसका नाम। बनाए बिगड़े सारे काम। वही मुक्ति वही चारों धाम। क्या सखि साजन ? ना सखि राम। २- आगे पीछे मेरे डोले। कान में कोई मंतर... Poetry Writing Challenge-2 · कहमुकरी 1 87 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Feb 2024 · 1 min read साजन तुम आ जाना... सावन के आने से पहले, साजन तुम आ जाना। बदरा घिर आने से पहले, साजन तुम आ जाना। जो ना तुम आए तो प्रियतम, आँसू आ जाएँगे। कजरा बह जाने... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 1 85 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Feb 2024 · 1 min read काश तुम ये जान पाते... जान जाते जो तुम्हें हम, दिल न यूँ तुमसे लगाते। क्यों जगाते कामनाएँ, चाहतों को पर लगाते ? जानते जो बेवफाई, है तुम्हारी फ़ितरतों में, जिंदगी के राज अपने, क्यों... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल/गीतिका 2 67 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Feb 2024 · 1 min read घनाक्षरी गीत... जीवन हुआ है भारी, लुटतीं खुशियाँ सारी, विरह-विदग्धा नारी, प्रिय को पुकारती। कहाँ गए तुम नाथ, क्यों छोड़ गए यूँ साथ, झुकाऊँ कहाँ ये माथ, सोच न मन पावे। रो-रोकर... Poetry Writing Challenge-2 1 97 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Feb 2024 · 1 min read छंद घनाक्षरी... कृपाण घनाक्षरी-श्रीकृष्ण जन्म... मैया की पीन पुकार, सुनते थे बारंबार, करने पाप संहार, आए स्वयं इस बार। छुपी प्रलय वृष्टि में, हलचल थी सृष्टि में, दृश्य अद्भुत दृष्टि में, हुए... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 3 105 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 1 Feb 2024 · 1 min read कृपाण घनाक्षरी.... १-हे प्रभु ले अवतार... अद्भुत यह संसार, समझ न आए पार, फँसी नाव मझधार, कर प्रभु बेड़ा पार। लेकर धर्म की आड़, करें सभी खिलवाड़, मेटे से मिटे न राड़,... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 2 91 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 1 Feb 2024 · 1 min read अब न तुमसे बात होगी... अब न तुमसे बात होगी। अनमनी हर रात होगी। अब न होंगे चाँद- तारे, ना रुपहली रात होगी। कुछ पलों की जिंदगानी, कुछ पलों में ढेर होगी। दो घड़ी भी... Poetry Writing Challenge-2 · गीत 2 102 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 Jan 2024 · 1 min read हम करें तो... हम करें तो बेइमानी। वो करें तो बुद्धिमानी। सत्य पर उँगली उठाना, शौक उनका खानदानी। बीज बोकर नफरतों का, खेल खेलें आग-पानी। पाँव उनके चूमती है, संपदा हो नौकरानी। थोपते... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल/गीतिका 1 83 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read इस तरह क्या दिन फिरेंगे.... जो छलेंगे, वो फलेंगे। इस तरह क्या दिन फिरेंगे ? डग न सीधे भर रहे जो, पर लगा नभ में उड़ेंगे। आज हम उस राह पर हैं, जिस राह बस... Poetry Writing Challenge-2 · गीतिका 1 102 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 2 min read किस्मत भी न जाने क्यों... हमने तुमको दिल दिया, तुमने आँसू-भार। प्रेम-समर में पाँव रख, पायी हमने हार। बनते-बनते काम में, देती पलटी मार। किस्मत भी न जाने क्यों, खाए रहती खार। शब्द हृदय पर... Poetry Writing Challenge-2 · दोहा गीत 1 54 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 2 min read किन्नर व्यथा... हमें भी तो जना तुमने, पिता का खून थे हम भी। कलेजा क्यों किया पत्थर, सुनें तो माँ जरा हम भी। दिखा दो एक भी ऐसा, कमी कोई नहीं जिसमें,... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 2 81 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read माँ सच्ची संवेदना... माँ सच्ची संवेदना, माँ कोमल अहसास। मेरे जीवन-पुष्प में, माँ खुशबू का वास।। रंग भरे जीवन में जिसने, महकाया संसार। पाला पोसा जानोतन से, दिया सुघड़ आकार। खुश रहे जो... Poetry Writing Challenge-2 · दोहा · मुक्तक 1 96 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read कर्मवीर भारत... भारत सदा से ही रहा है कर्मवीरों की थली। दम पे इन्हीं के सभ्यता अनुदिन यहाँ फूली फली। नित काम में रत हैं मगर फल की न करते कामना। सौ... Poetry Writing Challenge-2 · गीत 2 82 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read पग न अब पीछे मुड़ेंगे... कस कमर जो चल पड़े हैं, पग न वे पीछे मुड़ेंगे। तुम जियो आजाद होकर, अब न तुम पर भार हूँ मैं। कर्म अपने साथ लेकर, जी रही अधिकार हूँ... Poetry Writing Challenge-2 · नवगीत 1 86 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jan 2024 · 1 min read दिन सुखद सुहाने आएंगे... बीतेंगी रातें गम की दिन, सुखद सुहाने आएंगे। आज नहीं तो कल वो तेरे, नाज उठाने आएंगे। कचरे पर जो बैठे अकड़े, कूड़ा तुझको समझ रहे। वही कभी जूड़े में... Poetry Writing Challenge-2 · ग़ज़ल/गीतिका 1 99 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 29 Jan 2024 · 1 min read मुक्तक... हंसगति छन्द मुक्तक... छंद हंसगति मिले हार या जीत, नहीं कुछ जानूँ। जग में सच्चा मीत, तुम्हें ही मानूँ। जब प्रभु करूँ पुकार, विनय सुन लेना। देकर तनिक दुलार, कष्ट हर लेना।... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक · हंसगति छंद 1 101 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 29 Jan 2024 · 1 min read मुक्तक... छंद हंसगति आज खुशी की रात, दिवाली आयी। सजी दीप की पाँत, छटा मन भायी।। देख सफल वनवास, देव हरषाए। हर्ष मगन रनिवास, सुवन घर आए।।१ रूप छटा घन श्याम, सहज मन... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक · हंसगति छंद 1 73 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 28 Jan 2024 · 1 min read मुक्तक... छंद मनमोहन १- शीश झुकाकर करूँ नमन। करो प्रभो सब पाप शमन।। द्वेष-दंभ सब करें गमन। रहे देश में सदा अमन।। २- सर-सर सर-सर चले पवन। नर्तन करते धरा - गगन।। मन... Poetry Writing Challenge-2 1 107 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 28 Jan 2024 · 1 min read दोहे एकादश... नैनों में प्रिय तुम बसे, अधर तुम्हारा नाम। एक इशारा तुम करो, चलूँ तुम्हारे धाम।।१।। धंधा करते झूठ का, दावे करते नेक। सिर्फ एक या दो नहीं, देखे यहाँ अनेक।।२।।... Poetry Writing Challenge-2 · दोहे 1 84 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 28 Jan 2024 · 1 min read सजल...छंद शैलजा अच्छे बच्चे- छंद शैलजा... {२४ मात्राएँ .१६-८ पर यति,अंत- दीर्घ (गा)} रोज सवेरे शाला जाते, अच्छे बच्चे। सदा बड़ों को शीश नवाते, अच्छे बच्चे। पढ़ते-लिखते नाम कमाते, आगे जाते, मात-पिता... Poetry Writing Challenge-2 · सजल 1 91 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 28 Jan 2024 · 1 min read मुक्तक...छंद-रूपमाला/मदन १- ढूँढते हैं प्राण पागल, धूप में भी छाँव। चाँदनी नीचे बिछी पर, जल रहे हैं पाँव। शांत नीरव रात में भी, मचा मन में शोर। चाँद गुपचुप नैन खोले,... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 2 108 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 28 Jan 2024 · 1 min read मुक्तक...छंद पद्मावती १- तुमसे ये जीवन... मन की सब बातें, रस-बरसातें, रात-दिवस हम करते थे। सुख-दुख भी आकर, बनते चाकर, कंटक मग के हरते थे। तुमसे ये जीवन, जैसे उपवन, हरा-भरा नित... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 1 111 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 26 Jan 2024 · 1 min read कुसुमित जग की डार... हंसगति छन्द... 1- गजानन श्री गणेश, सदा सुखकारी। शिव शंकर हैं तात, उमा महतारी। प्रथम पूज्य श्रीपाद, अमंगल हारी। चरण नवाऊँ माथ, हरो अघ भारी। 2- ये हैं गण के... Poetry Writing Challenge-2 · हंसगति छंद 2 95 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Jan 2024 · 1 min read राष्ट्रीय पर्व गणतंत्र दिवस... कर रहे शुभकामना.... पर्व है गणतंत्र दिवस का, राष्ट्र की आराधना। अखंड भारत देश रहे ये, कर रहे शुभकामना। सबके सुख-दुख अपने सुख-सुख, भाव मन में पुष्ट हो। भेद-भाव की... Poetry Writing Challenge-2 · गीत 1 73 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 24 Jan 2024 · 1 min read चंद मुक्तक- छंद ताटंक... अपनी भाषा अपनी संस्कृति, किसे न मोहित करती है ? अपनी माँ या अपनी मासी, किसे न प्यारी लगती है ? पर अपना ये देश अनूठा, पर संस्कृति पर मरता... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 1 83 Share