Kalpana Gavli "माँ" - काव्य प्रतियोगिता 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid Kalpana Gavli 20 Nov 2018 · 1 min read माँ कड़ी धूप में, जाड़े में, बारीश में, कभी रुकती नहीं, माँ की इबादत, है धरती –सी तू, सारे जहाँ का बोझ उठाती हुई, संवेदनाओं में बहती-सी, रसातल करती अपनों को,... "माँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 8 82 756 Share