4947.*पूर्णिका*
4947.*पूर्णिका*
🌷 अपनों से ही प्यार मिलता 🌷
22 22 2122
अपनों से ही प्यार मिलता।
सपना भी साकार मिलता।।
चाहत अपनी देख सुंदर।
साथी सच दिलदार मिलता।।
बिगड़े ना यूं काम कोई।
सोच यहाँ दमदार मिलता।।
खुशियों की बरसात होती ।
जीने का आधार मिलता ।।
नेक इरादा शान खेदू।
सुख सागर संसार मिलता।।
………✍ डॉ.खेदू भारती “सत्येश”
13-11-2024बुधवार