4755.*पूर्णिका*
4755.*पूर्णिका*
🌷 सच दिल से चाहोगे 🌷
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सच दिल से चाहोगे।
हीरा बन जाओगे।।
अपना तो सपना है ।
तारा बन जाओगे।।
साथ समय है हरदम ।
धारा बन जाओगे।।
खुशियाँ नायाब यहाँ ।
यारा बन जाओगे।।
जीवन बदले खेदू।
पारा बन जाओगे।।
……..✍ डॉ.खेदू भारती “सत्येश”
24-10-2024गुरूवार