4703.*पूर्णिका*
4703.*पूर्णिका*
🌷 साफ दिल के लोग कहाँ 🌷
212 22 22
साफ दिल के लोग कहाँ ।
साजन छप्पन भोग कहाँ ।।
लूटने वाले लूटे ।
नियम का उपयोग कहाँ ।।
जान गंवाते जानी ।
आत्म संयम योग कहाँ ।।
गैर अपना बन जाते ।
दामन प्रयोग कहाँ ।।
संवरे जीवन खेदू।
देख ले संयोग कहाँ ।।
………✍️ डॉ. खेदू भारती। “सत्येश “
18-10-2024 शुक्रवार