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20 Sep 2024 · 1 min read

4394.*पूर्णिका*

4394.*पूर्णिका*
🌷 जैसी मेरी चाहत है🌷
22 22 22 2
जैसी मेरी चाहत है।
वैसी तेरी चाहत है ।।
बदले आज जमाना भी।
ऐसी अपनी चाहत है ।।
रंग जहाँ रंगे दुनिया।
देखी दिल की चाहत है ।।
हरपल बांटे खुशियाँ हम।
बस नेकी की चाहत है ।।
यूं साथ निभाएं खेदू।
सच साथी की चाहत है ।।
…….✍️ डॉ. खेदू भारती “सत्येश “
20-09-2024 शुक्रवार

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