Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
20 Dec 2023 · 1 min read

2842.*पूर्णिका*

2842.*पूर्णिका*
🌷 दिल क्या है पूछा कर🌷
22 22 22
दिल क्या है पूछा कर ।
ना समझे पूछा कर ।।
हसरत अपनी जाने ।
पूरी कब पूछा कर ।।
फूल यहाँ बाग यहाँ ।
महका क्यों पूछा कर ।।
बहता रहता पानी ।
प्यास लगे पूछा कर।।
जग दीवाना खेदू।
मस्त कैसे पूछा कर ।।
……….✍ डॉ .खेदू भारती”सत्येश”
20-12-2023बुधवार

166 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

साक्षात्कार एक स्वास्थ्य मंत्री से [ व्यंग्य ]
साक्षात्कार एक स्वास्थ्य मंत्री से [ व्यंग्य ]
कवि रमेशराज
#शिवाजी_के_अल्फाज़
#शिवाजी_के_अल्फाज़
Abhishek Shrivastava "Shivaji"
गाय को पता नहीं/ प्रसिद्ध व्यंग्यकार और कवि विष्णु नागर की कविता
गाय को पता नहीं/ प्रसिद्ध व्यंग्यकार और कवि विष्णु नागर की कविता
Dr MusafiR BaithA
प्रकृति कि  प्रक्रिया
प्रकृति कि प्रक्रिया
Rituraj shivem verma
2846.*पूर्णिका*
2846.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कल तो नाम है काल का,
कल तो नाम है काल का,
sushil sarna
गजल सगीर
गजल सगीर
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
हिन्दी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं
हिन्दी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं
Lokesh Sharma
मेरी पहली चाहत था तू
मेरी पहली चाहत था तू
Dr Manju Saini
क्यों जीना है दहशत में
क्यों जीना है दहशत में
Chitra Bisht
प्रेमी ने प्रेम में हमेशा अपना घर और समाज को चुना हैं
प्रेमी ने प्रेम में हमेशा अपना घर और समाज को चुना हैं
शेखर सिंह
क्रिकेट
क्रिकेट
World Cup-2023 Top story (विश्वकप-2023, भारत)
उफ ये सादगी तुम्हारी।
उफ ये सादगी तुम्हारी।
Taj Mohammad
आ बैठ मेरे पास मन
आ बैठ मेरे पास मन
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
मानव शरीर पाकर भी
मानव शरीर पाकर भी
Shweta Soni
" मैं सोचूं रोज़_ होगी कब पूरी _सत्य की खोज"
Rajesh vyas
जरूरत से ज्यादा मुहब्बत
जरूरत से ज्यादा मुहब्बत
shabina. Naaz
ज़िन्दगी में हमेशा खुशियों की सौगात रहे।
ज़िन्दगी में हमेशा खुशियों की सौगात रहे।
Phool gufran
काश असल पहचान सबको अपनी मालूम होती,
काश असल पहचान सबको अपनी मालूम होती,
manjula chauhan
कर्म फल भावार्थ सहित
कर्म फल भावार्थ सहित
Sudhir srivastava
#शिक्षा व चिकित्सा
#शिक्षा व चिकित्सा
Radheshyam Khatik
ग़ज़ल _नसीब मिल के भी अकसर यहां नहीं मिलता ,
ग़ज़ल _नसीब मिल के भी अकसर यहां नहीं मिलता ,
Neelofar Khan
गांव
गांव
Bodhisatva kastooriya
पितरों का लें आशीष...!
पितरों का लें आशीष...!
मनोज कर्ण
■ आदी हैं मल-वमन के।।
■ आदी हैं मल-वमन के।।
*प्रणय*
#drArunKumarshastri
#drArunKumarshastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
लव यू
लव यू "जॉन"
शिवम "सहज"
हर दिन एक नई शुरुआत हैं।
हर दिन एक नई शुरुआत हैं।
Sangeeta Beniwal
बिल्ली पर कविता -विजय कुमार पाण्डेय
बिल्ली पर कविता -विजय कुमार पाण्डेय
Vijay kumar Pandey
वो भी तो ऐसे ही है
वो भी तो ऐसे ही है
gurudeenverma198
Loading...