लहरों सी होती हैं मुश्किलें यारो,
खिल गई जैसे कली हो प्यार की
दिल है के खो गया है उदासियों के मौसम में.....कहीं
हमारी शान है हिन्दी, हमारा मान है हिन्दी।
कितना रोके मगर मुश्किल से निकल जाती है
यह पतन का दौर है । सामान्य सी बातें भी क्रांतिकारी लगती है ।
🥀 *गुरु चरणों की धूल*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
सैनिक के संग पूत भी हूँ !
पाण्डेय चिदानन्द "चिद्रूप"
हाथ पर हाथ धरे कुछ नही होता आशीर्वाद तो तब लगता है किसी का ज
मैने देखा नहीं है कोई चाँद
प्यार करने के लिए हो एक छोटी जिंदगी।