🌺 मेरे अश’आर 🌺
इश्क़ के खेल में कुछ खोना पड़ सकता है ।
दामन पर लगे दाग को धोना पड़ सकता है ।।
वस्ल में तो बहुत मुस्कुरा लिए हम दोनों ।
हिज्र के लम्हात में अब रोना पड़ सकता है ।।
© डॉक्टर वासिफ़ काज़ी ,इंदौर
©काज़ीकीक़लम
इश्क़ के खेल में कुछ खोना पड़ सकता है ।
दामन पर लगे दाग को धोना पड़ सकता है ।।
वस्ल में तो बहुत मुस्कुरा लिए हम दोनों ।
हिज्र के लम्हात में अब रोना पड़ सकता है ।।
© डॉक्टर वासिफ़ काज़ी ,इंदौर
©काज़ीकीक़लम