शिक्षा अपनी जिम्मेदारी है
दो घड़ी अयन फिर बच्चा हो गया
मज़ा आता है न तुमको बार-बार मुझे सताने में,
जहाँ में किसी का सहारा न था
मनमाने तरीके से रिचार्ज के दाम बढ़ा देते हैं
डिग्रियां तो मात्र आपके शैक्षिक खर्चों की रसीद मात्र हैं ,
आँखें उदास हैं - बस समय के पूर्णाअस्त की राह ही देखतीं हैं