■ अनुभूत तथ्य…
■ आत्मीयता
एक अलग ही आभास है, जो जादुई सामर्थ्य रखता है। इसकी तुलना थोथी हमदर्दी के साथ कदापि नहीं की जा सकती। आत्मीय सहानुभूति को आत्मा उतनी ही आसानी से परख लेती है, जितनी आसानी से दिखावे की हमदर्दी को।
【प्रणय प्रभात】