Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
18 Apr 2019 · 1 min read

ग़ज़ल- होना था तन्हा हुआ रंजूर तो

ग़ज़ल- होना था तन्हा हुआ रंजूर तो
★★★★★★★★★★★★★

होना था तन्हा हुआ रंजूर तो
तुम भी जाओ जा रहे हो दूर तो

कोई मुझसे प्यार अब करता नहीं
खो गया है चेहरे का नूर तो

जिंदगी से हार कैसे मान लूँ
स्वप्न सारे हो गये हैं चूर तो

प्यार करना यूँ तड़पना रात-दिन
क्या करेंगे है यही दस्तूर तो

पहले ही बतला दिया होता मुझे
इश्क मेरा था नहीं मंजूर तो

जिंदगी “आकाश” मुझको भी मिली
साथ में ग़म भी मिले भरपूर तो

– आकाश महेशपुरी

333 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
कृति : माँ तेरी बातें सुन....!
कृति : माँ तेरी बातें सुन....!
VEDANTA PATEL
आदमी आदमी के रोआ दे
आदमी आदमी के रोआ दे
आकाश महेशपुरी
शर्मिंदगी झेलनी पड़ती है दोस्तों यहां पर,
शर्मिंदगी झेलनी पड़ती है दोस्तों यहां पर,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
पंख गिरवी रख लिए
पंख गिरवी रख लिए
Dr. Rajeev Jain
रेत और जीवन एक समान हैं
रेत और जीवन एक समान हैं
राजेंद्र तिवारी
नई पीढ़ी पूछेगी, पापा ये धोती क्या होती है…
नई पीढ़ी पूछेगी, पापा ये धोती क्या होती है…
Anand Kumar
त’आरूफ़ उसको
त’आरूफ़ उसको
Dr fauzia Naseem shad
कड़वा बोलने वालो से सहद नहीं बिकता
कड़वा बोलने वालो से सहद नहीं बिकता
Ranjeet kumar patre
#मंगलकामनाएं-
#मंगलकामनाएं-
*प्रणय*
कदम बढ़ाकर मुड़ना भी आसान कहां था।
कदम बढ़ाकर मुड़ना भी आसान कहां था।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
बाण मां के दोहे
बाण मां के दोहे
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
डरना हमको ज़रा नहीं है,दूर बहुत ही कूल भले हों
डरना हमको ज़रा नहीं है,दूर बहुत ही कूल भले हों
Dr Archana Gupta
यदि हम आध्यात्मिक जीवन की ओर सफ़र कर रहे हैं, फिर हमें परिवर
यदि हम आध्यात्मिक जीवन की ओर सफ़र कर रहे हैं, फिर हमें परिवर
Ravikesh Jha
मुझे मुझसे हीं अब मांगती है, गुजरे लम्हों की रुसवाईयाँ।
मुझे मुझसे हीं अब मांगती है, गुजरे लम्हों की रुसवाईयाँ।
Manisha Manjari
जो कण कण में हर क्षण मौजूद रहता है उसे कृष्ण कहते है,जो रमा
जो कण कण में हर क्षण मौजूद रहता है उसे कृष्ण कहते है,जो रमा
Rj Anand Prajapati
मानस हंस छंद
मानस हंस छंद
Subhash Singhai
कानून अंधा है
कानून अंधा है
Indu Singh
मैं अक्सर उसके सामने बैठ कर उसे अपने एहसास बताता था लेकिन ना
मैं अक्सर उसके सामने बैठ कर उसे अपने एहसास बताता था लेकिन ना
पूर्वार्थ
दीपक और दिया
दीपक और दिया
Dr. Ramesh Kumar Nirmesh
2813. *पूर्णिका*
2813. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
शायर की मोहब्बत
शायर की मोहब्बत
Madhuyanka Raj
स्मृति
स्मृति
Neeraj Agarwal
गाना..... पन्ना की तमन्ना है कि हीरा मुझे मिल जाए...........
गाना..... पन्ना की तमन्ना है कि हीरा मुझे मिल जाए...........
Sonam Puneet Dubey
तृष्णा के अम्बर यहाँ,
तृष्णा के अम्बर यहाँ,
sushil sarna
STABILITY
STABILITY
SURYA PRAKASH SHARMA
*शक्तिपुंज यह नारी है (मुक्तक)*
*शक्तिपुंज यह नारी है (मुक्तक)*
Ravi Prakash
घर-घर ओमप्रकाश वाल्मीकि (स्मारिका)
घर-घर ओमप्रकाश वाल्मीकि (स्मारिका)
Dr. Narendra Valmiki
"मोहब्बत का सफर"
Dr. Kishan tandon kranti
Nhà Cái Uy Tín Chuyên trang nhà cái tổng hợp cung cấp link t
Nhà Cái Uy Tín Chuyên trang nhà cái tổng hợp cung cấp link t
Nhà Cái Uy Tín
भूल जा वह जो कल किया
भूल जा वह जो कल किया
gurudeenverma198
Loading...