इस तरह कब तक दरिंदों को बचाया जाएगा।
Poetry Writing Challenge-2 Result
बाल कविता शेर को मिलते बब्बर शेर
सच्चे देशभक्त आजादी के मतवाले
पुरुष को एक ऐसी प्रेमिका की चाह होती है!
हर नदी अपनी राह खुद ब खुद बनाती है ।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
*** तूने क्या-क्या चुराया ***
दरमियान कुछ नहीं
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '
उलझाया रखा है तन्हाइयों ने इश्क़-ए-सफ़र में,
अमेठी के दंगल में शायद ऐन वक्त पर फटेगा पोस्टर और निकलेगा "ज़
*हमें कर्तव्य के पथ पर, बढ़ाती कृष्ण की गीता (हिंदी गजल/ गीतिका)*