हड़ताल
आती है हड़ताल से , बस मुश्किल में जान।
तोड़ फोड़ से मत करो, अपना ही नुकसान।
अपना ही नुकसान, समझदारी दिखलाओ।
रखकर अपना पक्ष , बात अपनी समझाओ।
करके सोच विचार, सुलझ हर उलझन जाती।
और मचाकर शोर, ‘अर्चना’ मुश्किल आती।
20-09-2019
डॉ अर्चना गुप्ता
मुरादाबाद