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22 Aug 2019 · 1 min read

हार फूलो के

बन जाते हैं
हमसफ़र
दो अज़नबी
जब डालते हैं
हार गले में

होता मान
देव का
जब पहनाते हैं
हार गले में
फूलों की

देते इज्जत
माता पिता को
जब डाल
गले में हार
लेते आशीर्वाद
उनसे

विजयी के
जब दिखे
हार गले में
समझो
बढाया सम्मान
देश और
परिवार का

है तेरी
दुःखद कहानी
जब होती
यात्रा अंतिम
जीवन की
दिखते बहुत
हार गले में

स्वलिखित
लेखक संतोष श्रीवास्तव भोपाल

Language: Hindi
416 Views
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