हाईकु एकादश
संसार के सर्वोच्च योगी वीतरागी दिगम्बर संतो के चरणों मे कोटि कोटि नमन करते हुए प्रस्तुत है उनकी महिमा मे इस लघु कवि का अल्प प्रयास सादर…
हाईकु-एकादश
१
दिगम्बर है
निर्मोही मुनी जन
बालकवत
२
दिगम्बर हैं
वीतरागी तपस्वी
हितोपदेशी
३
दिगम्बर हैं
परमशांत मुद्रा
ध्यान करिये
४
दिगम्बर हैं
प्राकृतिक जीवन
विशुध्दतम
५
दिगम्बर हैं
निजरूप लखिये
मुक्ति मिलेगी
६
दिगम्बर हैं
सबकुछ तजे जो
निज मे रमे
७
दिगम्बर हैं
कर पात्री बनें जो
मोक्ष यात्री वो
८
दिगम्बर हैं
परम वीतरागी
अध्यात्म योगी
९
दिगम्बर है
मौन भी रखें नित
मुनि अर्थ मे
१०
दिगम्बर हैं
जो कुछ करें बस
परमार्थ मे
११
दिगम्बर हैं
त्रय लोक भजता
प्रभु रुप मे
राजेन्द्र ‘अनेकांत’
बालाघाट दि.२७-०२-१७