Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Oct 2021 · 1 min read

हाइकु -विजयदशमी

हाइकु 43
*****
विजयदशमी
*****
विजयपर्व
है विजयदशमी
जीत सको तो
*****
रावण भला
मरता कब कहाँ
बताओ भला।
*****
अकेला था वो
और अब रावण
अनगिनत।
*****
रावण भला
रावण को मारेगा
यकीन नहीं।
*****
रावण कभी
मर नहीं सकता
मारेगा कौन?
*****
तुम रावण
हम भी तो रावण
मार सकोगे।
*****
रावण भला
मरेगा भी तो कैसे
रावण मारे।
*****
राम कुपित
रावण ही रावण
कितना मारें।
*****
विजयपर्व
सिर्फ़ औपचारिक
रावण हँसे।
*****
चुनौती देता
हर ओर रावण
बेबस राम
*****
● सुधीर श्रीवास्तव
गोण्डा, उ.प्र.
8115285921
© मौलिक, स्वरचित

Language: Hindi
236 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
मुक्तक
मुक्तक
anupma vaani
सर्दी में जलती हुई आग लगती हो
सर्दी में जलती हुई आग लगती हो
Jitendra Chhonkar
हकीकत जानूंगा तो सब पराए हो जाएंगे
हकीकत जानूंगा तो सब पराए हो जाएंगे
Ranjeet kumar patre
*जिंदगी के युद्ध में, मत हार जाना चाहिए (गीतिका)*
*जिंदगी के युद्ध में, मत हार जाना चाहिए (गीतिका)*
Ravi Prakash
#सत्यकथा
#सत्यकथा
*Author प्रणय प्रभात*
3239.*पूर्णिका*
3239.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
चलो आज खुद को आजमाते हैं
चलो आज खुद को आजमाते हैं
कवि दीपक बवेजा
Khud ke khalish ko bharne ka
Khud ke khalish ko bharne ka
Sakshi Tripathi
सरहद
सरहद
लक्ष्मी सिंह
किसान,जवान और पहलवान
किसान,जवान और पहलवान
Aman Kumar Holy
रमेशराज के मौसमविशेष के बालगीत
रमेशराज के मौसमविशेष के बालगीत
कवि रमेशराज
रात का रक्स जारी है
रात का रक्स जारी है
हिमांशु Kulshrestha
निदा फाज़ली का एक शेर है
निदा फाज़ली का एक शेर है
Sonu sugandh
Subah ki hva suru hui,
Subah ki hva suru hui,
Stuti tiwari
सब्र की मत छोड़ना पतवार।
सब्र की मत छोड़ना पतवार।
Anil Mishra Prahari
सम्भल कर चलना जिंदगी के सफर में....
सम्भल कर चलना जिंदगी के सफर में....
shabina. Naaz
रिश्ते दिलों के अक्सर इसीलिए
रिश्ते दिलों के अक्सर इसीलिए
Amit Pandey
अरमां (घमण्ड)
अरमां (घमण्ड)
umesh mehra
"म्हारी छोरियां छोरों से कम हैं के"
Abdul Raqueeb Nomani
कोहरा और कोहरा
कोहरा और कोहरा
Ghanshyam Poddar
Li Be B
Li Be B
Ankita Patel
नित्य करते जो व्यायाम ,
नित्य करते जो व्यायाम ,
Kumud Srivastava
हैं सितारे डरे-डरे फिर से - संदीप ठाकुर
हैं सितारे डरे-डरे फिर से - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
"शाम-सवेरे मंदिर जाना, दीप जला शीश झुकाना।
आर.एस. 'प्रीतम'
मुक्तक
मुक्तक
पंकज कुमार कर्ण
🌸 सभ्य समाज🌸
🌸 सभ्य समाज🌸
पूर्वार्थ
मुक़्तज़ा-ए-फ़ितरत
मुक़्तज़ा-ए-फ़ितरत
Shyam Sundar Subramanian
जीवन
जीवन
नवीन जोशी 'नवल'
युगांतर
युगांतर
Suryakant Dwivedi
प्यार मेरा तू ही तो है।
प्यार मेरा तू ही तो है।
Buddha Prakash
Loading...