”हम मिलेंगे ”
कुछ इस कदर घेरा है तेरी यादों के बादल ने मुझे ,,
के बीते पलों की बारिश में भीग सा गया हूँ
नदी की तरह बहते अपने सपनों को देख ,,
आँसुओं की उठती लहरों में डूब सा गया हूँ
सुना था हर किसी को मुकम्मल जहाँ नहीं मिलता ,,
कहीं ज़मीं तो कहीं आसमा नहीं मिलता
पर मैं न ज़मीं खोज रहा था न तमन्ना थी आसमां की ,,
तेरा हाथ मेरे हाथ में हो बस तलाश मुझे ऐसे ही किसी जहाँ की थी
पर कुछ और ही लिखा था ऊपर वाले ने हमारी तकदीरों में,,
शायद हम थे ही नहीं एक दूसरे की हाथों की लकीरों में
बिखर तो कब के गए होते हम तुम बस एक ख़याल ने बांध रक्खा है ,,
की फिर मिलेंगे किसी दुनिया में जल्द तुम्हारे हिस्से का प्यार अभी भी हमने
अपनी रूह में संभाल रक्खा है ……..
written by Ladduuuu1023 ladduu