“सूदखोरी”
“सूदखोरी”
वार्तालाप सुन ले अगर तो
मनुष्यता भी शरमा जाए,
सूदखोरों के सामने
विराट विश्व की परमसत्ता भी
माथ पकड़ बैठ जाए,
आम आदमी की साँसें
धड़कन, गीत और सपने
गिन-गिन कर गिरवी रखने
वो तराजू में तौल जाए।
“सूदखोरी”
वार्तालाप सुन ले अगर तो
मनुष्यता भी शरमा जाए,
सूदखोरों के सामने
विराट विश्व की परमसत्ता भी
माथ पकड़ बैठ जाए,
आम आदमी की साँसें
धड़कन, गीत और सपने
गिन-गिन कर गिरवी रखने
वो तराजू में तौल जाए।