साँप …अब माफिक -ए -गिरगिट हो गया है साँप …अब माफिक -ए -गिरगिट हो गया है के बदल लेता है पोशाक-ए -आस्तीन सा रंग अपना – सिद्धार्थ गोरखपुरी