सही और गलत
✒️?जीवन की पाठशाला ??️
जीवन चक्र ने मुझे सिखाया की अक्सर भावनाओं के बहते समुन्दर में बुद्धि -विवेक जैसी लहरें सही निर्णय नहीं ले पातीं और अमूमन उस समय लिए गए निर्णय हमारे पछतावे का कारण बनती हैं …,
जीवन चक्र ने मुझे सिखाया की जब तक आप सहारा बने रहते हैं अपनों की -रिश्तों की -दुनियादारी की भीड़ आपको घेरे रहती है और जैसे ही वक़्त के पहिये तले दुर्घटना ग्रस्त होकर आप गिर पड़ते हैं लोग बाग़ अपने रास्ते बदलने लग जाते हैं …,
जीवन चक्र ने मुझे सिखाया की बच्चे जब अपने निर्णय स्वयं लेने लग जाएँ तो बड़ों को फिर उन्हें समझाने में समय नष्ट नहीं करना चाहिए क्यूंकि अब वो आपसे नहीं अपने निर्णयों के सही और गलत होने से समझेंगे …,
आखिर में एक ही बात समझ आई की इस स्वार्थ भरी दुनिया की हर सुबह स्वार्थ के सूर्योदय से प्रकाशित होती है और हर रात अधूरी स्वार्थपूर्ति की शिकायतों के चंद्रोदय के साथ नींद के आगोश में समां जा जाती है …!
बाक़ी कल , अपनी दुआओं में याद रखियेगा ?सावधान रहिये-सुरक्षित रहिये ,अपना और अपनों का ध्यान रखिये ,संकट अभी टला नहीं है ,दो गज की दूरी और मास्क ? है जरुरी …!
?सुप्रभात?
स्वरचित एवं स्वमौलिक
“?विकास शर्मा’शिवाया ‘”?
जयपुर-राजस्थान